Best commando in India : दुनिया के सभी देशों के पास खास कमांडो फोर्स मौजूद है। भारत के पास भी कई स्पेशल फोर्स है जो काफी खतरनाक है। घातक, गरुड़, मार्कोस जैसी कमांडो भारत की सबसे खतरनाक कमांडों में से एक है। ये फोर्सेज आतंकी हमला रोकने, होस्टेज जैसे हालातों से बचाने और सीक्रेट ऑपरेशन करने के साथ ही सर्जिकल स्ट्राइक में सबसे ज्यादा आगे है। ये फाॅर्स दुश्मनों को धूल चटाने का काम करती है। किसी भी परिस्थिति से लड़ने के लिए ये फाॅर्स हमेशा तैयार रहती है। चलिए जानते हैं वो ऐसी कौन सी 5 कमांडो फोर्सेज है जो बेहद खतरनाक है।
ये है 5 खतरनाक कमांडो फाॅर्स –
पैरा एसएफ –
पैरा एसएफ कमांडो सबसे ज्यादा खतरनाक है। इस कमांडो को पैराशूट कमांडो के नाम से भी जाना जाता है। इस कमांडो ने पाकिस्तान में सर्जिकल स्ट्राइक की थी। इस कमांडो की ट्रेनिंग 9 महीने की होती है। इसमें कई किलोमीटर की दौड़ करवाई जाती है। साथ ही जो इस खतरनाक ट्रेनिंग को पास करता है उसे ही लाल टोपी दी जाती है। पैरा एसएफ के जवानों की निशानी लाल टोपी है। इसकी ट्रेनिंग में जवानों से 30 से 35 हजार की ऊंचाई से छलांग लगवाई जाती है। अभी तक देश में 9 पैरा एसएफ बटालियन मौजूद है।
मार्कोस कमांडो फोर्स –
भारत की मार्कोस कमांडो फोर्स को नेवी सील्स के नाम से जाना जाता है। इसमें भारतीय नौसेना के लिए जवानों को तैयार किया जाता है। इसमें जवानों को जमीन और आसमान में कहीं भी दुश्मनों से लड़ना पड़े लड़ना पड़ता है। ये फाॅर्स हमेशा दुश्मनों को धूल चटाने के लिए तैयार रहती है। अमेरिकी नेवी सील्स की इसकी ट्रेनिंग होती है। जिसमें हथियार चलाने की ट्रेनिंग दी जाती है। अभी मार्कोस फोर्स में 1200 कमांडो हैं।
कोबरा कमांडो –
2008 में बनाई गई कोबरा कमांडो सबसे खतरनाक और बेस्ट है। इस कमांडों का नाम कमांडो बटालियन फॉर रिजॉल्यूट एक्शन है। तीन महीने की ट्रेनिंग के बाद इसमें सेलक्शन होता है। इसकी ट्रेनिंग में गोरिल्ला ट्रेनिंग और नक्सल वॉरफेयर के लिए ट्रेन्ड किया जाता है। ये सबसे खतरनाक पैरामिलिट्री फोर्स में शामिल है। दुश्मनों पर ये खतरनाक तरीके से हमला करने में एक्सपर्ट है। राष्ट्रपति भवन और संसद समेत के साथ कई जगहों की सुरक्षा यही करती है।
एनएसजी कमांडो फोर्स –
देश में बड़े आतंकी हमले से निपटने के लिए एनएसजी कमांडो फाॅर्स सबसे ज्यादा खतरनाक है। ये एनएसजी कमांडो अब तक कई आतंकियों को ढेर कर चुकी हैं। ये देश के ब्लैक कैट्स है। इनके पास 10 हजार सक्रिय कमांडो हैं। इन सभी को अलग-अलग टीमों में बांटा गया है। ट्रेनिंग 14 महीने की ट्रेनिंग के बाद होती है। वीआईपी सिक्योरिटी, हाईजैकिंग रोकने, बम का पता लगाने में ये कमांडो माहिर होती है। गृह मंत्रालय के काम के लिए इसे रखा गया है।
गरुड़ कमांडो फोर्स –
घातक कमांडो फोर्स में से एक है गरुड़ कमांडो फोर्स। इसे 2004 में बनाया गया था। ये कमांडो एयर असॉल्ट, एयर ट्रैफिक कंट्रोल, क्लोज प्रोटेक्शन, सर्च एंड रेसक्यू, आतंकरोधी अभियान, डायरेक्ट एक्शन, एयरफील्ड्स की सुरक्षा की जाती है। इसकी ट्रेनिंग 72 हफ्ते की होती है। ये कमांडो से सबसे ज्यादा लंबी है। इस फोर्स में 1780 गरुड़ कमांडो हैं।