भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस ने शुक्रवार को ‘वोट चोरी से आजादी’ अभियान शुरू किया और लोगों से लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी के वोट चोरी के दावों का समर्थन करने की अपील की। कांग्रेस ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट के जरिए लोगों से अपने व्हाट्सएप और अन्य सोशल मीडिया हैंडल की डिस्प्ले पिक्चर बदलकर इस अभियान को समर्थन देने का आग्रह किया। यह अभियान स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर शुरू किया गया, जिसका उद्देश्य चुनाव आयोग और बीजेपी पर लगाए गए वोट चोरी के आरोपों को उजागर करना है।
कांग्रेस के इस अभियान की शुरुआत बिहार में आगामी विधानसभा चुनावों से पहले 14 अगस्त को राहुल गांधी द्वारा वोटर अधिकार यात्रा की घोषणा के साथ हुई। राहुल गांधी ने एक्स पर पोस्ट कर कहा कि 17 अगस्त से बिहार की धरती से वोट चोरी के खिलाफ सीधी लड़ाई शुरू होगी। उन्होंने इसे लोकतंत्र, संविधान और एक व्यक्ति, एक वोट के सिद्धांत की रक्षा के लिए एक निर्णायक संघर्ष बताया। कांग्रेस का दावा है कि यह अभियान स्वच्छ मतदाता सूची सुनिश्चित करने और कथित वोट चोरी को रोकने के लिए है।
चुनाव आयोग पर गंभीर आरोप
राहुल गांधी ने 7 अगस्त को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में चुनाव आयोग पर गंभीर आरोप लगाए और दावा किया कि चुनाव पूर्व नियोजित हैं। उन्होंने कर्नाटक के महादेवपुरा विधानसभा क्षेत्र में कांग्रेस की शोध के आधार पर 1,00,250 वोटों की चोरी का आरोप लगाया। राहुल ने बताया कि कांग्रेस ने अन्य सीटों पर जीत हासिल की, लेकिन महादेवपुरा में बीजेपी ने जीत दर्ज की, जिसके कारण लोकसभा सीट पर उनकी जीत हुई। उन्होंने कहा कि उनकी आंतरिक सर्वेक्षण के अनुसार, कांग्रेस को कर्नाटक में 16 सीटें जीतनी थीं लेकिन केवल नौ सीटें मिलीं।
जन आंदोलन का रूप देने की अपील
कांग्रेस ने इस अभियान को जन आंदोलन का रूप देने की अपील की है जिसमें युवा, मजदूर, किसान और हर नागरिक से इस मुहिम में शामिल होने का आह्वान किया गया है। पार्टी का कहना है कि यह केवल चुनावी मुद्दा नहीं, बल्कि लोकतंत्र और संविधान की रक्षा की लड़ाई है। वोट चोरी से आजादी अभियान के तहत कांग्रेस पूरे देश में स्वच्छ मतदाता सूची सुनिश्चित करने और कथित वोट चोरी करने वालों को हराने का संकल्प ले रही है।





