गुरुवार दोपहर दिल्ली, नोएडा, गाजियाबाद सहित एनसीआर के कई हिस्सों में अचानक जमीन कांपने लगी। दरअसल भूकंप का केंद्र हरियाणा के झज्जर में था और इसकी तीव्रता रिक्टर स्केल पर 4.4 दर्ज की गई है। वहीं झटकों की अवधि लगभग 10 सेकंड तक बताई गई है। ऐसे में झटके महसूस होते ही कई लोग दफ्तरों और घरों से बाहर निकल आए। हालांकि अब तक किसी बड़े नुकसान की खबर नहीं है, लेकिन लोगों में घबराहट जरूर देखी गई।
दरअसल भूकंप का असर सिर्फ दिल्ली-NCR तक सीमित नहीं रहा। यह हरियाणा के जींद और बहादुरगढ़ के अलावा पश्चिमी उत्तर प्रदेश और राजस्थान के कुछ इलाकों में भी कंपन महसूस हुआ है। खास बात ये है कि बीते छह महीनों में यह तीसरा मौका है जब इस इलाके में भूकंप आया है।
बीते 6 महीने में तीसरी बार आया भूकंप
बता दें कि इससे पहले 17 फरवरी और 19 अप्रैल को भी दिल्ली और आसपास के क्षेत्रों में धरती कांपी थी। दरअसल 19 अप्रैल को दोपहर 12:17 बजे अफगानिस्तान में आए 5.8 तीव्रता के भूकंप का असर जम्मू-कश्मीर और दिल्ली-NCR तक महसूस हुआ था। वहीं उस वक्त भी श्रीनगर समेत कई इलाकों में लोग अपने घरों और दफ्तरों से बाहर निकलते नजर आए थे। हालांकि उस घटना में भी जान-माल का कोई नुकसान नहीं हुआ था, लेकिन डर का माहौल जरूर बन गया था।
कैसे आता है भूकंप?
दरअसल भूकंप का आधार पृथ्वी की कोर या ऊपरी गर्म वायुमंडल से संबंधित होता है। दरअसल जब पृथ्वी की कोर में दबाव बढ़ने लग जाता है। जो भूकंप का कारण बन जाता है। वहीं भूकंप के कारण ज्योलिथोस्फियर का दबाव बढ़ता है, जिससे ऊपरी गर्म वायुमंडल में अचानक अपचय होता है और तापमान में विशेषता घटने लगती है। इससे पृथ्वी की स्थिरता के बल में असंतुलन होता है और हलचल मचने लगती है। इस हलचलें को ही हम भूकंप कहते हैं।





