कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने अभिनेत्री बानु मुश्ताक को मैसूर दशहरा उत्सव में शामिल होने के निमंत्रण को लेकर उत्पन्न हुए विवाद पर कड़ा रुख अपनाया है। उन्होंने कहा है कि जो लोग इस निमंत्रण का विरोध कर रहे हैं, उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। सिद्धारमैया ने स्पष्ट किया कि दशहरा एक सांस्कृतिक और धार्मिक उत्सव है, जिसमें सभी समुदायों के लोग शामिल हो सकते हैं और किसी भी तरह का भेदभाव बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
बानु मुश्ताक, जो एक जानी-मानी अभिनेत्री हैं, को इस साल मैसूर दशहरा उत्सव के उद्घाटन समारोह में भाग लेने के लिए आमंत्रित किया गया था। उनके निमंत्रण को लेकर कुछ समूहों ने सोशल मीडिया पर आपत्ति जताई और इसे धार्मिक आधार पर विवादित करने की कोशिश की। इस पर मुख्यमंत्री ने कहा कि यह उत्सव कर्नाटक की सांस्कृतिक धरोहर का हिस्सा है और इसे सांप्रदायिक रंग देना गलत है।
धर्मों और समुदायों का सम्मान
सिद्धारमैया ने अपने बयान में जोर देकर कहा कि उनकी सरकार सभी धर्मों और समुदायों का सम्मान करती है। दशहरा उत्सव में सभी को शामिल होने का अधिकार है। उन्होंने यह भी चेतावनी दी कि जो लोग इस मुद्दे को अनावश्यक रूप से उछालकर सामाजिक सौहार्द बिगाड़ने की कोशिश करेंगे, उनके खिलाफ सख्त कानूनी कदम उठाए जाएंगे।
दशहरा उत्सव में शामिल
इस बीच, बानु मुश्ताक ने भी इस विवाद पर अपनी प्रतिक्रिया दी और कहा कि उन्हें दशहरा उत्सव में शामिल होने का निमंत्रण मिलना गर्व की बात है। उन्होंने लोगों से अपील की कि वे इस उत्सव को सांस्कृतिक एकता के प्रतीक के रूप में देखें और नकारात्मकता से बचें। मैसूर दशहरा, जो देश के सबसे भव्य उत्सवों में से एक है, हर साल लाखों लोगों को आकर्षित करता है।





