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Wed, Dec 17, 2025

अमित शाह ने गौरव गोगोई पर पाकिस्तान यात्रा को लेकर साधा निशाना, खड़गे ने याद दिलाई ‘विश्वगुरु की दावत’

Written by:Mini Pandey
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संसद में पहलगाम आतंकी हमले और ऑपरेशन सिंदूर पर बहस के दौरान खड़गे ने कांग्रेस की राष्ट्र-निर्माण में भूमिका को रेखांकित किया और बीजेपी पर झूठ की फैक्ट्री चलाने का आरोप लगाया।
अमित शाह ने गौरव गोगोई पर पाकिस्तान यात्रा को लेकर साधा निशाना, खड़गे ने याद दिलाई ‘विश्वगुरु की दावत’

राज्यसभा में विपक्ष के नेता और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने मंगलवार को संसद के मॉनसून सत्र के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर उनकी 2015 की पाकिस्तान यात्रा को लेकर निशाना साधा। खड़गे ने भारतीय जनता पार्टी पर पाकिस्तान के साथ व्यवहार में पाखंड का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने हमेशा पाकिस्तान की निंदा की है, लेकिन बीजेपी के नेता बिन बुलाए दावतों में जाते हैं और गले मिलते हैं। उन्होंने बिना नाम लिए पीएम मोदी की 2015 में तत्कालीन पाकिस्तानी समकक्ष नवाज शरीफ से लाहौर में मुलाकात का जिक्र किया।

खड़गे का यह बयान केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई पर हमले के जवाब में आया, जिसमें शाह ने दावा किया था कि गोगोई कई बार पाकिस्तान गए हैं और उन्हें सीमा पर जाकर भारतीय सैनिकों की स्थिति देखनी चाहिए। गौरव गोगोई ने जवाब में कहा कि वह मोदी की बिरयानी खाने वाली यात्रा से पहले पाकिस्तान गए थे। खड़गे ने कहा, “हमने हमेशा पाकिस्तान की निंदा की है, लेकिन आप यहां निंदा करते हैं और वहां दावतों में शामिल होते हैं।”

ऑपरेशन सिंदूर पर बहस

संसद में पहलगाम आतंकी हमले और ऑपरेशन सिंदूर पर बहस के दौरान खड़गे ने कांग्रेस की राष्ट्र-निर्माण में भूमिका को रेखांकित किया और बीजेपी पर झूठ की फैक्ट्री चलाने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, “हमारा गौरवशाली इतिहास है। हमने इस राष्ट्र के निर्माण में जो योगदान दिया, वह अतुलनीय है।” खड़गे ने बीजेपी की नीतियों की आलोचना करते हुए कहा कि कांग्रेस ने देश को मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।

भारत के कदम की सराहना

अमित शाह ने लोकसभा में ऑपरेशन सिंदूर की चर्चा के दौरान भारत के कदम की सराहना की और 22 अप्रैल के पहलगाम आतंकी हमले में शामिल तीन आतंकवादियों के मारे जाने की प्रशंसा की। इस बीच, खड़गे के बयान ने संसद में सत्तारूढ़ और विपक्षी दलों के बीच तीखी बहस को और हवा दी, जिसमें दोनों पक्षों ने एक-दूसरे पर विदेश नीति और राष्ट्रीय सुरक्षा के मुद्दों पर दोहरे मापदंड अपनाने का आरोप लगाया।