पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने गुरुवार को बीजेपी नीत केंद्र सरकार पर भारत का सम्मान विदेशी ताकतों के सामने बेचने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार कभी अमेरिका तो कभी चीन के सामने झुकती है। राज्य विधानसभा में अन्य राज्यों में बंगाली प्रवासियों पर हमलों के मुद्दे पर चर्चा के दौरान उन्होंने बीजेपी पर तानाशाही मानसिकता रखने और पश्चिम बंगाल को उपनिवेश बनाने की कोशिश करने का भी आरोप लगाया।
ममता ने बीजेपी पर बंगाली प्रवासी श्रमिकों पर बीजेपी शासित राज्यों में हुए कथित हमलों पर चर्चा को रोकने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, “बीजेपी इन हमलों पर चर्चा क्यों नहीं होने दे रही? क्योंकि ये घटनाएं उनके शासित राज्यों में हो रही हैं। वे सच्चाई को दबाना चाहते हैं।” विधानसभा में इस मुद्दे पर बीजेपी और टीएमसी विधायकों के बीच तीखी नोकझोंक और हंगामा देखने को मिला।
तानाशाही मानसिकता का आरोप
ममता ने बीजेपी पर औपनिवेशिक और तानाशाही मानसिकता का आरोप लगाते हुए कहा कि उनकी पार्टी हिंदी या किसी अन्य भाषा के खिलाफ नहीं है, लेकिन बीजेपी स्पष्ट रूप से बंगाली विरोधी है। उन्होंने बीजेपी के वैचारिक पूर्वजों पर स्वतंत्रता संग्राम के दौरान देश को धोखा देने का भी आरोप लगाया।
आजादी के लिए संघर्ष नहीं
उन्होंने कहा, “बीजेपी एक तानाशाह पार्टी है, जिनके पूर्वजों ने भारत की आजादी के लिए संघर्ष नहीं किया, बल्कि देश को धोखा दिया।” हंगामे के बीच कुछ टीएमसी विधायक विपक्षी बेंच की ओर बढ़े, जिसके बाद मार्शलों को हस्तक्षेप करना पड़ा। इस अराजकता के कारण ममता को अपना भाषण बीच में रोकना पड़ा।





