Mini Chambal : यूं तो दुनिया में घूमने के लिए एक-से-बढ़कर एक जगह है। ट्रैवल प्रेमी अक्सर अपने लिए कोई-ना-कोई ऐसी जगह अवश्य ढूंढते हैं, जहां वह खान-पान, वेषभूषा, पकवान, विविधता, संस्कृति को एक्सप्लोरर कर सके। इससे उनका इतिहास भी पता लग जाएगा। साथ ही यह उनके लिए एक्टिविटी का भी एक पार्ट होता है। बता दें कि बाहर घूमने वाले लोगों को प्रैक्टिकल नॉलेज ज्यादा होता है। वैसे तो भारत में घूमने के लिए बहुत सारे ऐसे प्लेस हैं, जहां देश ही नहीं बल्कि विदेशों से भी लोग आते हैं, लेकिन यदि आप इन सब से हटके कुछ अलग ट्राई करना चाहते हैं, तो खबर को पूरा पढ़ें…
करें कुछ ट्विस्ट
कुछ लोग प्रकृति प्रेमी होते हैं, तो कुछ लोगों को रोमांटिक प्लेस पसंद होता है। इसके लिए वह समुद्री बीच जैसी जगहों को एक्सप्लोर करना ज्यादा पसंद करते हैं। वहीं, कुछ लोगों को इतिहास में ज्यादा दिलचस्पी होती है, तो वह राजस्थान, आगरा, आदि जगहों पर जाते हैं, तो कुछ लोगों को धार्मिक स्थान घूमना ज्यादा पसंद होता है, तो वह मथुरा, वृंदावन, वाराणसी, जैसे जगहों पर जाना पसंद करते हैं, लेकिन अगर आप जंगल का सफर करना चाह रहे हैं, जीवन में कुछ ट्विस्ट और एडवेंचर चाहते हैं, तो आज हम आपको मिनी चंबल के बारे में बताएंगे।
मिनी चंबल
मध्य प्रदेश के चंबल का नाम तो हर किसी ने सुना होगा। यहां डाकुओं के साथ-साथ मगरमच्छ का भी काफी ज्यादा भय रहता है। इस नदी में जाने से लोग काफी ज्यादा डरते हैं, लेकिन आज हम आपको बिहार के पश्चिमी चम्पारण ज़िले में स्थित वाल्मीकि टाइगर रिजर्व के बारे में बता रहे हैं जो कि मिनी चंबल के नाम से मशहूर है। यहां आपको बाघ, तेंदुआ, काले भालू, सांभर, शीतल जैसे जंगली जानवर देखने को मिलेंगे। यहां की प्राकृतिक दृश्य आपको काफी ज्यादा पसंद आएगी। यह जंगल पहाड़ और नदी से जुड़े होने के कारण लोगों के बीच आकर्षण का केंद्र बिंदु बना हुआ है। लोग अपने फैमिली, फ्रेंड्स के साथ जंगल सफारी पर यहां जाना बेहद पसंद करते हैं।
कैसे हुआ नामकरण
इस टाइगर रिजर्व में आपको बहुत सी प्रजातियां की अद्भुत पक्षियों को देखने का मौका मिलेगा जो काफी अलग होते हैं। इन्हें देखकर आपको काफी ज्यादा अच्छा लगने वाला है। अब आपके मन में यह सवाल उठ रहा होगा कि इस मिनी चंबल क्यों कहा जाता है? तो इसका जवाब दिया है कि 90 के दशक में यहां जंगल के बीच कच्ची और जर्जर सड़क था, जहां पशुओं का इतना आतंक था कि लोगों को यहां आने जाने में डर लगता था। इस कारण इसका नाम मिनी चंबल पड़ गया और तब से यह जगह इसी नाम से फेमस हो गया है।
इस दौरान करें ट्रैवल
अगर आप भी यहां ट्रैवल करने की सोच रहे हैं, तो यह महीना आपके लिए बेस्ट रहेगा क्योंकि यहां अक्टूबर से मार्च के बीच जंगल सफारी किया जा सकता है। इस दौरान आपको बहुत से जानवरों को नजदीक से देखने और उसकी तस्वीर खींचने का मौका मिलेगा। हालांकि, जंगल सफारी के दौरान आपको बेहद सावधान रहने की भी जरूरत है।