Rajasthan Farmers News : राजस्थान के किसानों के लिए राहत भरी खबर है। राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार ने एक बार फिर समर्थन मूल्य पर सरसों की खरीदी की डेट आगे बढ़ा दी है। राज्य सरकार द्वारा समर्थन मूल्य पर की जा रही सरसों खरीद की अवधि 10 दिन और बढ़ा दी है। इसके आदेश गुरुवार शाम को राजस्थान राज्य सहकारी क्रय विक्रय संघ की प्रबंध निदेशक उर्मिला राजोरिया ने जारी कर दिए हैं।इस निर्णय से प्रदेश के लाखों किसानों को लाभ मिलेगा।
अब 24 जुलाई तक होगी सरसों की खरीदी
प्रमुख शासन सचिव, सहकारिता श्रेया गुहा ने बताया कि प्रदेश में सरसों की न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर खरीद अवधि को 14 जुलाई से बढ़ाकर 24 जुलाई, 2023 तक किया गया है। राज्य सरकार ने अधिक से अधिक किसानों से समर्थन मूल्य पर खरीद सुनिश्चित करने के लिए भारत सरकार से खरीद अवधि बढ़ाने की मांग की थी। उन्होंने किसानों से आग्रह किया कि संबंधित खरीद केन्द्रों पर एफएक्यू मानकों के अनुरूप ही सरसों लेकर जाएं ताकि उनसे खरीद सुनिश्चित हो सके। सरसों की खरीद के लिए नैफेड से बारदाना क्रय किया जा रहा है। राजफैड द्वारा पर्याप्त मात्रा में बारदाने की व्यवस्था की हुई है।
अब तक 2 लाख किसानों को मिला MSP का लाभ
- 5 जुलाई तक प्रदेश के 2 लाख 44 हजार 220 किसानों से 6 लाख 27 हजार 700 मीट्रिक टन की सरसों एवं चना की एमएसपी पर खरीद हुई है। जिसकी राशि 3392 करोड़ रूपये है। इसमें से 1 लाख 46 हजार 253 किसानों से 3.80 लाख मीट्रिक टन सरसों की खरीद की गई है। जिसकी राशि 2 हजार 71 करोड़ रूपये है।
- खरीद प्रक्रिया के तहत सरसों बेचान के लिए 2 लाख 29 हजार किसानों ने पंजीयन कराया है। जिसमें से 2 लाख 18 हजार 373 किसानों को दिनांक आवंटित कर दी गई है।
इस प्रस्ताव को भी मंजूरी, 10000 किसान होंगे लाभान्वित
इसके साथ ही सीएम ने प्रदेश में मधुमक्खी पालन को प्रोत्साहन देने के लिए किसानों को अनुदान, किट एवं प्रशिक्षण उपलब्ध करवाने के लिए 25.67 करोड़ रूपए के वित्तीय प्रस्ताव को मंजूरी दी है। इससे भरतपुर, श्रीगंगानगर, अलवर, धौलपुर सहित विभिन्न जिलों के 10000 किसान लाभान्वित होंगे। प्रस्ताव के अनुसार, 2500 किसानों को मधुमक्खी पालन के लिए प्रति किसान 50 मधुमक्खी बॉक्स एवं 50 मधुमक्खी कॉलोनी हेतु लागत राशि का 40% अनुदान दिया जाएगा। वही प्रति किसान एक बी-किपिंग किट के लिए अनुदान राशि दी जाएगी। 7500 किसानों को मधुमक्खी पालन प्रशिक्षण तथा मधुक्रान्ति पोर्टल पर मधुमक्खी पालक के रूप में उनका पंजीकरण किया जाएगा।किसानों को प्रशिक्षण, अनुदान व किट उपलब्ध करवाने के लिए राशि किसान कल्याण कोष से उपलब्ध करवाई जाएगी।गहलोत द्वारा इस संबंध में वर्ष 2023-24 के बजट में घोषणा की गई थी।