भारत का इकलौता मंदिर, जिसका श्मशान की ओर है मुख्य द्वार, हर मनोकामना होती है पूर्ण

आज हम आपको भारत के एक इकलौते भैरव काली मंदिर के बारे में बताएंगे, जिसका मुख्य द्वार श्मशान की ओर है और यहां भोग के तौर पर शराब चढ़ाई जाती है।

भारत में एक से बढ़कर एक धार्मिक स्थल हैं, जहां हर साल त्योहार पर भक्तों की भारी भीड़ देखने को मिलती है। चाहे नवरात्रि हो या फिर शिवरात्रि, चाहे दीपावली हो या फिर होली, हर एक पर्व-त्योहार में मंदिर को फूलों से सजाकर तैयार कर दिया जाता है। त्योहार वाले दिनों में पूरा शहर भक्ति में डूबा हुआ नजर आता है। इस दौरान माहौल में अलग ही सकारात्मकता महसूस होती है। हर गली-मोहल्ले में लोगों के बीच अलग ही उत्साह देखने को मिलता है।

हिंदू धर्म में नवरात्रि का विशेष महत्व है, जो कि साल में चार बार आता है। इन दिनों गुप्त नवरात्रि का पर्व चल रहा है, जो कि 4 जुलाई तक है।

भारत का इकलौता मंदिर

इस दौरान महाशक्ति यानी देवी पार्वती, देवी दुर्गा की विशेष पूजा-अर्चना की जाती है। सभी मंदिरों में भक्तों की भीड़ लगी होती है। इसके अलावा लोग नवरात्रि का व्रत रखते हैं और नौवें दिन कन्याओं को भोजन करवाते हैं, ताकि उनके परिवार और उन पर सदैव माता रानी की कृपा बनी रहे। हालांकि, आज हम आपको भारत के एक इकलौते भैरव काली मंदिर के बारे में बताएंगे, जिसका मुख्य द्वार श्मशान की ओर है और यहां भोग के तौर पर शराब चढ़ाई जाती है।

भैरव काली माता मंदिर

भारत का यह इकलौता मंदिर हरियाणा के अंबाला में स्थित है, जिसका नाम भैरव काली माता मंदिर है। यह मंदिर शहर के बीचो-बीच सुकुल कुंड रोड पर स्थित है, जहां माता रानी को भोग के तौर पर शराब चढ़ाई जाती है। मान्यता है कि यहां आकर जो भी मन्नत मांगता है, उसकी हर मनोकामना मां काली पूरी करती हैं। इस मंदिर का मुख्य द्वार श्मशान की ओर है।

अंग्रेजों से जुड़ा है इतिहास

इस मंदिर का इतिहास अंग्रेजों के जमाने से जुड़ा हुआ है। जब भारत में अंग्रेजों की हुकूमत थी, तब उन्होंने इस मंदिर में शराब चढ़ाने पर पाबंदी लगा दी थी। हालांकि, उनके जाने के बाद फिर से यहां शराब का चढ़ावा चढ़ाया जाने लगा। इस मंदिर में देवाधिदेव महादेव और प्रभु श्रीराम के भक्त हनुमान जी का भी मंदिर है। यहां आने वाले भक्त कभी भी निराश होकर नहीं लौटते हैं।

पुजारी करते हैं देखभाल

मंदिर की देखरेख पुजारी द्वारा की जाती है, जो कि यहां सुबह और शाम पूजा-पाठ करते हैं। मंदिर की साफ-सफाई करवाते हैं। स्थानीय लोगों का ऐसा मानना है कि जो भक्त यहां 40 दिन तक लगातार आता है, उसकी हर मनोकामना पूरी हो जाती है। ऐसे में नवरात्रि के दौरान यहां श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ती है।

(Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। MP Breaking News किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है।)


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Sanjucta Pandit

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मैं संयुक्ता पंडित वर्ष 2022 से MP Breaking में बतौर सीनियर कंटेंट राइटर काम कर रही हूँ। डिप्लोमा इन मास कम्युनिकेशन और बीए की पढ़ाई करने के बाद से ही मुझे पत्रकार बनना था। जिसके लिए मैं लगातार मध्य प्रदेश की ऑनलाइन वेब साइट्स लाइव इंडिया, VIP News Channel, Khabar Bharat में काम किया है।पत्रकारिता लोकतंत्र का अघोषित चौथा स्तंभ माना जाता है। जिसका मुख्य काम है लोगों की बात को सरकार तक पहुंचाना। इसलिए मैं पिछले 5 सालों से इस क्षेत्र में कार्य कर रही हुं।

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