शरबत जिहाद : ‘क्या शरबत का भी मज़हब होता है’ बाबा रामदेव के पतंजलि स्वदेशी सनातन सात्विक शरबत पर छिड़ा नया विवाद

योग गुरु का एक और विवादास्पद बयान सामने आया है। पतंजलि की मार्केटिंग को सांप्रदायिक रंग देते हुए बाबा रामदेव कह रहे हैं कि अगर आप एक खास कंपनी का बनाया शरबत खरीदते हैं तो उसकी कमाई से देश में मदरसे और मस्जिद बनेंगे। लेकिन उनकी कंपनी का शरबत खरीदकर आप सिर्फ अपनी प्यास नहीं बुझाएंगे, बल्कि सनातन संस्कृति की रक्षा करने में भी योगदान देंगे। गोया शरबत न हुआ कोई सांस्कृतिक कवच हो गया।

Sharbat Jihad : अगर आपको ‘शरबत जिहाद’ से बचना है तो बाबा रामदेव की कंपनी का शरबत ही खरीदें। दूसरी कंपनियों के सॉफ्ट ड्रिंक ठंडे के नाम पर ‘टॉयलेट क्लीनर’ होते हैं और एक खास कंपनी तो शरबत बेचकर उससे कमाई से मदरसे और मस्जिद बना रही है। बाबा रामदेव ने अपने विवादास्पद बयान में कहा है कि ‘आपको शरबत जिहाद से बचना है पतंजलि का गुलाब शरबत पीजिए।’

योग गुरु अपनी कंपनी के शरबत की प्रशंसा कर रहे हैं। इसमें कोई समस्या भी नहीं है। कोई भी व्यवसायी उत्पाद बनाएगा तो उसकी मार्केटिंग करेगा ही। तुलनात्मक रूप से दूसरी कंपनियों के प्रोडक्ट्स को खराब भी ठहराया जा सकता है। इसके लिए गुणवत्ता, सामग्री, कीमत, ब्रांड वैल्यू, स्वास्थ्य पर प्रभाव जैसी कई बातें हो सकती हैं। लेकिन बाबा रामदेव दूर की कौड़ी ढूँढकर लाए हैं जिसका नाम ‘शरबत जिहाद है’। उन्होंने शरबत को भी मज़हब से जोड़ दिया है।

शरबत जिहाद : बाबा रामदेव का नया विवादास्पद बयान

अब तक आपकी थाली में क्या है..इसे लेकर कई तरह के विवाद होते रहे हैं। भोजन की चॉइस को लेकर कई बातें और विचार सामने आते रहे हैं। लेकिन अब आपके गिलास में क्या है..इसपर भी विवाद शुरु हो गया है। योग गुरु के नाम से प्रसिद्ध बाबा रामदेव ने ये कहकर सनसनी फैला दी है कि एक कंपनी शरबत बेचकर जो पैसे कमाती है..उससे मदरसे और मस्जिद बनवाती है। उन्होंने कहा ‘अगर आप वो शरबत पिएंगे तो मदरसे और मस्जिद बनेंगे। लेकिन पतंजलि का गुलाब का शरबत पीते हैं तो गुरुकुल बनेगा, आचार्य कुलम बनेगा, पतंजलि विश्वविद्यालय और भारतीय शिक्षा बोर्ड आगे बढ़ेगा। मैं कहता हूं जैसे ‘लव जिहाद’ ‘वोट जिहाद’ चल रहा है, ऐसे ही ‘शरबत जिहाद’ भी चल रहा है। आपको इस ‘शरबत जिहाद’ से बचाना है।’

‘पतंजलि का स्वदेशी सनातन सात्विक शरबत खरीदें’

तो अब बाबा रामदेव ने पतंजलि कंपनी के शरबत को बेचने के लिए शरबत के स्वदेशी सनातन सात्विक विकल्प प्रस्तुत किए हैं। उनकी कंपनी के बनाए गुलाब, बेल, ब्राह्मी, शंखपुष्पी, आम पना के शरबत खरीदकर आप सिर्फ अपनी प्यास नहीं बुझाएंगे, बल्कि देश की सनातन संस्कृति की रक्षा भी करेंगे। ये बात हम नहीं कह रहे, बाबा रामदेव इसका दावा कर रहे हैं। उनके एक्स अकाउंट पर कुछ दिन पहले शेयर किए गए इस वीडियो ने अब नए विवाद को जन्म दे दिया है। इसमें वो सॉफ्ट ड्रिंक को टॉयलेट क्लीनर बता रहे हैं और दूसरी कंपनी के शरबत को ‘शरबत जिहाद’ ठहरा रहे हैं।

ये कोई पहली बार नहीं है जब उनके बयान से विवाद खड़ा हुआ हो। इससे पहले भी उनकी एलोपैथी पर टिप्पणी, महिलाओं के पहनावे पर दिए बयान,  शिक्षा और नौकरी, काले धन सहित कई और बयानों पर विवाद हो चुका है। अब एक बार फिर ‘शरबत जिहाद’ को लेकर गर्मागर्म बहस शुरु हो गई है। सोशल मीडिया पर कई लोग उनके इस बयान के लिए उनकी आलोचना कर रहे हैं।


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Shruty Kushwaha

Shruty Kushwaha

2001 में माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता विश्वविद्यालय भोपाल से पत्रकारिता में स्नातकोत्तर (M.J, Masters of Journalism)। 2001 से 2013 तक ईटीवी हैदराबाद, सहारा न्यूज दिल्ली-भोपाल, लाइव इंडिया मुंबई में कार्य अनुभव। साहित्य पठन-पाठन में विशेष रूचि।

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