UP में स्मार्ट मीटर लगवाते समय इन बातों का रखें ध्यान, सरकार ने जारी किए दिशा-निर्देश

योगी सरकार ने सभी उपभोक्ताओं को सतर्क किया है कि वह अपना ओटीपी किसी भी अनजान व्यक्ति के साथ शेयर ना करें, क्योंकि मीटर लगवाने या फिर वेरिफिकेशन के लिए सरकार द्वारा किसी भी तरह की राशि नहीं ली जा रही है।

Sanjucta Pandit
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Smart Meter Scheme in UP : उत्तर प्रदेश सरकार ने स्मार्ट मीटर योजना की सुरक्षा को लेकर कड़ा कदम उठाया है। सरकार ने उपभोक्ताओं के बीच भ्रम और चिंता को दूर करने के लिए यह स्पष्ट किया है कि सत्यापन प्रक्रिया के दौरान किसी तरह का कोई भ्रष्टाचार ना हो। यह योजना बिल्कुल फ्री है। इसके लिए केवल OTP की जरूरत है, इसलिए अफवाहों पर ध्यान ना दें।

इसे लगवाने के लिए उपभोक्ताओं के रजिस्टर्ड नंबर पर 6 डिजिट का ओटीपी आएगा, जिसे उन्हें बिजली विभाग के अधिकारियों के साथ शेयर करना है। साथ ही सत्यापन वेरिफिकेशन के लिए ऑथराइज्ड लेटर और पहचान पत्र दिखाना है।

नि:शुल्क है स्मार्ट मीटर योजना

बता दें कि स्मार्ट मीटर को लेकर कई तरह की अफवाहें फैलाई जा रही है, जिसके लिए योगी सरकार ने सभी उपभोक्ताओं को सतर्क किया है कि वह अपना ओटीपी किसी भी अनजान व्यक्ति के साथ शेयर ना करें, क्योंकि मीटर लगवाने या फिर वेरिफिकेशन के लिए सरकार द्वारा किसी भी तरह की राशि नहीं ली जा रही है। यदि उनसे इसकी मांग की जाती है, तो वह हेल्पलाइन नंबर पर अपनी शिकायत दर्ज करवा सकते हैं।

बिजली मंत्री ने दी ये जानकारी

बिजली मंत्री एके शर्मा ने बताया कि यह पहल बिजली व्यवस्था को आधुनिक बनाने की दिशा में बड़ा और महत्वपूर्ण कदम है। इससे राज्य का विकास होगा। सरकार का उद्देश्य उपभोक्ताओं को बेहतर सेवाएं उपलब्ध कराना है। इसके साथ ही स्मार्ट मीटर प्रक्रिया को पारदर्शी और सुरक्षित बनाना है और स्मार्ट मीटर सत्यापन के दौरान सतर्कता बरतने की जरूरत है।

इन बातों का रखें ध्यान

  • उपभोक्ताओं को केवल उन्हीं के साथ ओटीपी शेयर करना है, जो बिजली विभाग के अधिकृत कर्मचारी हैं।
  • यह बिल्कुल नि:शुल्क प्रक्रिया है, इसके लिए आपको एक भी पैसा देने की जरूरत नहीं है।
  • किसी भी तरह की समस्या होने पर उपभोक्ता सरकार द्वारा जारी हेल्पलाइन नंबर 1912 पर संपर्क कर सकते हैं।
  • आप कंज्यूमर इंडेक्सिंग पर बिजली उपयोग और बैलेंस की जानकारी रियल टाइम देख सकते हैं।
  • इस योजना के लिए आपको जरूरी सरकारी दस्तावेज जमा कराने होंगे।

कंज्यूमर इंडेक्सिंग के फायदे

स्मार्ट मीटर लगाने से पहले कंज्यूमर इंडेक्सिंग प्रक्रिया पूरी की जाती है। इसके लिए उपभोक्ता को मोबाइल नंबर, आधार कार्ड, पैन कार्ड, वोटर आईडी के अलावा ड्राइविंग लाइसेंस जमा करना होगा, जो सत्यापन के लिए जरूरी है। इसके बाद उपभोक्ताओं को बिजली उपयोग सहित बैलेंस से जुड़ी सारी जानकारी रियल टाइम में मिलती रहेगी।


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Sanjucta Pandit

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मैं संयुक्ता पंडित वर्ष 2022 से MP Breaking में बतौर सीनियर कंटेंट राइटर काम कर रही हूँ। डिप्लोमा इन मास कम्युनिकेशन और बीए की पढ़ाई करने के बाद से ही मुझे पत्रकार बनना था। जिसके लिए मैं लगातार मध्य प्रदेश की ऑनलाइन वेब साइट्स लाइव इंडिया, VIP News Channel, Khabar Bharat में काम किया है।पत्रकारिता लोकतंत्र का अघोषित चौथा स्तंभ माना जाता है। जिसका मुख्य काम है लोगों की बात को सरकार तक पहुंचाना। इसलिए मैं पिछले 5 सालों से इस क्षेत्र में कार्य कर रही हुं।

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