MP Breaking News
Sun, Dec 21, 2025

भारत का सबसे युवा IAS, गरीबी को मात देकर बना अफसर! 21 साल की उम्र में रचा इतिहास

Written by:Sanjucta Pandit
Published:
अपने क्षेत्र में कानून व्यवस्था को बनाए रखने की जिम्मेदारी आईएएस अधिकारी की होती है। प्राकृतिक आपदा या फिर आपदाकालीन स्थिति में वह राहत कार्य पहुंचने सहित सभी आवश्यक दिशा निर्देश देते हैं।
भारत का सबसे युवा IAS, गरीबी को मात देकर बना अफसर! 21 साल की उम्र में रचा इतिहास

भारतीय प्रशासनिक सेवा यानी IAS भारत सरकार की सिविल सेवाओं में से एक है, जो कि एक प्रतिष्ठित और महत्वपूर्ण सेवा माना जाता है। आईएएस अफसर बनने के लिए भारत के सबसे कठिन परीक्षा को पास करना पड़ता है, जो जनता से सीधे संपर्क में रहते हैं और उनकी समस्याओं का समाधान करते हैं। बता दें कि IAS अधिकारी बनने का सपना सभी युवाओं का होता है। इसके लिए वह यूपीएससी द्वारा आयोजित सिविल सेवा परीक्षा को पास करते हैं। जिसके बाद वो अधिकारी बनते हैं। जिसके बाद अपनी जिम्मेदारी को वह ईमानदारी और निष्पक्ष तरीके से निभाते हैं।

अपने क्षेत्र में कानून व्यवस्था को बनाए रखने की जिम्मेदारी आईएएस अधिकारी की होती है। प्राकृतिक आपदा या फिर आपदाकालीन स्थिति में वह राहत कार्य पहुंचने सहित सभी आवश्यक दिशा निर्देश देते हैं।

भारत के युवा IAS

यूं तो आईएएस अधिकारी बनने का सपना हर किसी का होता है। इसके लिए यूनियन पब्लिक सर्विस कमिशन जो कि देश की सबसे कठिन परीक्षाओं में से एक है पास करना होता है। हालांकि, अधिकतर अभ्यर्थी इसे पहले अटेम्प्ट में क्लियर नहीं कर पाते हैं, लेकिन लगातार मेहनत के बाद एक में एक दिन वह अपने मुकाम तक जरूर पहुंचते हैं। ऐसे में आज हम आपको देश के युवा IAS के बारे में बताएंगे, जिन्होंने बहुत ही छोटी उम्र में यह कामयाबी हासिल की है।

अंसार शेख अहमद

दरअसल, इस इस का नाम अंसार शेख अहमद है, जो मूल रूप से महाराष्ट्र के जालना जिले के मराठवाड़ा क्षेत्र के छोटे से गांव सेल के रहने वाले हैं। जिन्होंने अपना बचपन काफी ग़रीबी में गुजारा है। उनके पिता ऑटो रिक्शा चलाते थे और मां खेत में काम किया करती थीं, तब जाकर उनके घर का भरण-पोषण हो पाता था। बचपन से ही पढ़ने-लिखने में होशियार अंसार, आर्थिक हालत खराब होने के बावजूद अपनी पढ़ाई में कोई कमी नहीं आने देते थे। उन्होंने बचपन से ही यह सोच लिया था कि वह एक दिन सरकारी अफसर बनेंगे, और इसके लिए उन्होंने जी-तोड़ मेहनत की।

अच्छे संसाधनों की कमी होने के बावजूद, अंसार ने पढ़ाई को कभी बोझ नहीं समझा, बल्कि वह दिन-रात पढ़ाई किया करते थे। उनके जीवन का बस एक ही लक्ष्य था कि वह आईएएस बन जाएं, और इसके बाद उनके घर की गरीबी खत्म हो जाए।

पहली बार में किया क्रेक

किसी ने ठीक ही कहा है, यदि मेहनत करते रहा जाए तो कड़ी से कड़ी मुकाम को भी हासिल किया जा सकता है। और यह उनकी मेहनत और लगन का ही परिणाम रहा कि उन्होंने यूपीएससी के पहले अटेम्प्ट में ही सफलता प्राप्त कर ली, और इस तरह वह भारत के सबसे युवा आईएएस बन गए। मात्र 21 साल की उम्र में एक नया इतिहास रचा।