राजस्थान कांग्रेस में बड़े बदलाव की तैयारी, 50 जिलों में नए अध्यक्षों की नियुक्ति जल्द

राजस्थान कांग्रेस में बड़े संगठनात्मक बदलाव की तैयारी पूरी हो चुकी है। राहुल गांधी के ड्रीम प्रोजेक्ट ‘संगठन सृजन अभियान’ के तहत प्रदेश के 50 जिलों में नए जिला अध्यक्षों की नियुक्ति की प्रक्रिया अंतिम चरण में है।

राजस्थान कांग्रेस में बड़े संगठनात्मक बदलाव की तैयारी पूरी हो चुकी है। राहुल गांधी के ड्रीम प्रोजेक्ट ‘संगठन सृजन अभियान’ के तहत प्रदेश के 50 जिलों में नए जिला अध्यक्षों की नियुक्ति की प्रक्रिया अंतिम चरण में है। इस अभियान के लिए पूरे प्रदेश से करीब 3000 आवेदन प्राप्त हुए हैं। पार्टी सूत्रों के मुताबिक, कांग्रेस नेतृत्व ने हाल ही में 30 पर्यवेक्षकों को राजस्थान भेजा था, जिन्होंने जिले-दर-जिले कार्यकर्ताओं से मुलाकात कर विस्तृत रिपोर्ट तैयार की। अब ये रिपोर्टें कांग्रेस आलाकमान को सौंप दी गई हैं, जिन पर जल्द निर्णय लिया जाएगा।

राजस्थान कांग्रेस में बड़े बदलाव की तैयारी

इस पूरे अभियान की मॉनिटरिंग कांग्रेस के संगठन महासचिव के.सी. वेणुगोपाल कर रहे हैं। सूत्रों के अनुसार, बुधवार को दिल्ली में वेणुगोपाल की अध्यक्षता में अहम बैठक होने जा रही है, जिसमें पर्यवेक्षकों की रिपोर्टों पर चर्चा होगी। माना जा रहा है कि इस बैठक के बाद नवंबर की शुरुआत में राजस्थान के नए जिला अध्यक्षों की सूची जारी कर दी जाएगी। इस बैठक में कांग्रेस नेतृत्व नए संगठन को लेकर आगे की रणनीति भी तय करेगा।

बैठक में शामिल होंगे पार्टी के कई वरिष्ठ नेता

बैठक में पार्टी के कई वरिष्ठ नेता शामिल होंगे, जिनमें प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा, नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली, पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और कांग्रेस महासचिव सचिन पायलट प्रमुख हैं। बताया जा रहा है कि इन नेताओं से व्यक्तिगत तौर पर राय ली जाएगी ताकि जिला स्तर पर संगठन को मजबूत और संतुलित रूप में पुनर्गठित किया जा सके।

पार्टी सूत्रों का कहना है कि इस बार जिला अध्यक्षों की नियुक्ति में नेताओं की सिफारिशों के बजाय पर्यवेक्षकों की रिपोर्ट को ही मुख्य आधार बनाया जाएगा। संगठन सृजन अभियान का मकसद है कि सक्रिय और जमीनी कार्यकर्ताओं को संगठन में उचित प्रतिनिधित्व मिले। इसलिए चयन प्रक्रिया को पूरी तरह निष्पक्ष और रिपोर्ट-आधारित रखा गया है ताकि योग्य कार्यकर्ताओं को बिना किसी पक्षपात के जिम्मेदारी मिल सके।

राजनीतिक जानकारों का मानना है कि यह बैठक राजस्थान कांग्रेस के लिए मील का पत्थर साबित होगी। इससे प्रदेश में पार्टी के संगठनात्मक ढांचे को नया स्वरूप मिलेगा और राहुल गांधी के ‘संगठन सृजन अभियान’ को जमीनी स्तर पर मजबूती मिलेगी। कांग्रेस नेतृत्व उम्मीद कर रहा है कि इस बदलाव से आगामी चुनावों में पार्टी की पकड़ जिलास्तर पर और मजबूत होगी।


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