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Sun, Dec 7, 2025

भजनलाल सरकार ने बढ़ाया स्कूटी योजना का दायरा, अब हर साल 4240 बालिकाओं को मिलेगा लाभ

Written by:Neha Sharma
देवनारायण छात्रा स्कूटी वितरण एवं प्रोत्साहन राशि योजना में बड़ा बदलाव किया है। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की सरकार ने निर्णय लिया है कि वर्ष 2025-26 से हर साल 4,240 बालिकाओं को स्कूटी वितरित की जाएगी।
भजनलाल सरकार ने बढ़ाया स्कूटी योजना का दायरा, अब हर साल 4240 बालिकाओं को मिलेगा लाभ

राजस्थान सरकार ने बालिका शिक्षा को और प्रोत्साहन देने के लिए देवनारायण छात्रा स्कूटी वितरण एवं प्रोत्साहन राशि योजना में बड़ा बदलाव किया है। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की सरकार ने निर्णय लिया है कि वर्ष 2025-26 से हर साल 4,240 बालिकाओं को स्कूटी वितरित की जाएगी। इस योजना का उद्देश्य विशेष रूप से राज्य की विशेष पिछड़ा वर्ग (एसबीसी) की छात्राओं को उच्च शिक्षा के लिए प्रोत्साहित करना है।

देवनारायण छात्रा स्कूटी वितरण एवं प्रोत्साहन राशि योजना

यह योजना वर्ष 2011-12 में शुरू की गई थी, जिसमें शुरुआत में केवल 1,500 स्कूटियां ही दी जाती थीं। अब लक्ष्य को बढ़ाकर 4,240 किया गया है, जिससे अधिक से अधिक बालिकाओं को इस योजना का लाभ मिल सके। कॉलेज शिक्षा विभाग इस योजना का संचालन करता है। योजना के तहत वे छात्राएं भी शामिल हैं जो वरीयता सूची में नहीं आ पातीं — उन्हें प्रोत्साहन राशि देकर आगे की पढ़ाई जारी रखने में मदद की जाती है।

स्नातक स्तर पर छात्राओं को प्रथम, द्वितीय और तृतीय वर्ष में 50 प्रतिशत या उससे अधिक अंक प्राप्त करने पर ₹10,000 वार्षिक की प्रोत्साहन राशि दी जाती है। वहीं स्नातकोत्तर स्तर पर प्रथम वर्ष में ₹20,000 और द्वितीय वर्ष में भी 50 प्रतिशत से अधिक अंक पाने पर ₹20,000 वार्षिक प्रोत्साहन राशि दी जाती है। यह लाभ केवल उन विशेष पिछड़ा वर्ग की छात्राओं को मिलेगा, जिनके माता-पिता की वार्षिक आय ₹2.50 लाख से कम है और जो राजकीय महाविद्यालयों या राज्य वित्तपोषित विश्वविद्यालयों में अध्ययनरत हैं।

16,021 छात्राओं को मिली स्कूटी

राज्य सरकार अब तक ₹74.35 करोड़ खर्च कर 16,021 छात्राओं को स्कूटी वितरित कर चुकी है। वहीं ₹9.76 करोड़ की प्रोत्साहन राशि 19,100 छात्राओं को दी जा चुकी है। इन सुधारों के बाद सरकार ने वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए ₹56.10 करोड़ का बजट प्रावधान स्वीकृत किया है, जिसमें से सितंबर 2025 तक ₹32.92 करोड़ की राशि खर्च की जा चुकी है।

सरकार का कहना है कि इस योजना का मकसद बालिकाओं को न केवल शिक्षा के अवसर देना है, बल्कि उन्हें आत्मनिर्भर बनाना भी है। स्कूटी और प्रोत्साहन राशि से छात्राओं की उच्च शिक्षा तक पहुंच आसान होगी और समाज में उनकी भागीदारी बढ़ेगी।