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Wed, Dec 17, 2025

Parashari Rajyog: ‘पाराशरी राजयोग’ से चमकेगी इन जातकों की किस्मत, कन्या सहित इन राशियों को 2 राजयोग का लाभ, प्रतिष्ठा-निवेश, आय में वृद्धि, मिलेगी सफलता, नौकरी के योग

Written by:Kashish Trivedi
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Parashari Rajyog: ‘पाराशरी राजयोग’ से चमकेगी इन जातकों की किस्मत, कन्या सहित इन राशियों को 2 राजयोग का लाभ, प्रतिष्ठा-निवेश, आय में वृद्धि, मिलेगी सफलता, नौकरी के योग

parashari Rajyog 2023, Astrology, Dhan Rajyog : ग्रहों की स्थिति बदलने के साथ ही इंसान के भाग्य में महत्वपूर्ण बदलाव नजर आते हैं। जैसे-जैसे ग्रह राशि परिवर्तन करते हैं। वैसे ही जातकों के वर्तमान पर इसका खासा असर दिखाई देता है। वर्तमान के साथ-साथ भविष्य भी प्रभावित होते हैं। ग्रहों के राशि परिवर्तन के साथ ही महत्वपूर्ण योग और राज योग का निर्माण होता है।

जातकों की कुंडली में राजयोग होने से जातक समृद्धिशाली होते हैं। इसके साथ ही उच्च पद की प्राप्ति होती है। उन्हें जीवन के हर क्षेत्र में कामयाबी हासिल होती है। अमूमन उन्हें अन्य लोगों के मुताबिक कम मेहनत में अतिरिक्त परिणाम देखने को मिलते हैं।

पाराशरी राजयोग का महत्व

ऐसा ही एक राजयोग है पाराशरी राजयोग। पाराशरी राजयोग से व्यक्ति समृद्धि और धनवान होता है। इसके साथ ही कुंडली में राजयोग से राजा के समान जीवन व्यतीत करते हैं। इसके अलावा धन राजयोग का भी लाभ उसे मिलता है। इस राजयोग के कारण जातक के भाग्य में प्रबलता पड़ती है। इसके साथ ही जीवन बेहद समृद्धशाली होता है। जातक हंसमुख और बुद्धिमान होते हैं।

पाराशरी राजयोग का निर्माण

4 नियम के तहत पाराशरी राज्यों का निर्माण होता है। राजयोग बनाने वाले ग्रह का योगकारक ग्रह कहते हैं और अपनी ग्रह में दशा अंतर्दशा के विशेष रूप में उन्हें सफलता प्राप्त होती है। पहले नियम के तहत चंद्र और गुरु आपस में केंद्र में बैठे हो तो गजकेसरी योग के साथ पाराशरी राजयोग का लाभ मिलता है। इसके अलावा मंगल, गुरु, बुध, शुक्र और शनि केंद्र में अपनी राशि अथवा उच्च राशि में हो तो पंच महापुरुष योग का लाभ मिलता है। अगर कोई केंद्र का स्वामी किसी त्रिकोण के स्वामी से संबंध बनाता हो तो पाराशरी योग का निर्माण होता है। यदि कोई ग्रह केंद्र और त्रिकोण दोनों का स्वामी हो तो पाराशरी योग से लाभ की संभावना बढ़ती है।

ऐसे में कुंडली में जब केंद्र भाव का संबंध त्रिकोण भाव से हो तो ऐसी स्थिति में पाराशरी राजयोग का निर्माण होता है। इन दशावधि में इस राजयोग के प्रभाव से जातक धनी और समृद्धि बनते हैं। उन्हें राजा जैसे जीवन प्राप्त होते हैं। राजयोग की अवधि में उनके सारे काम बनते हैं। कार्यस्थल पर उनके पद प्रतिष्ठा में वृद्धि होती है।

बुधादित्य राजयोग

ग्रहों के राजा सूर्य 15 मई को राशि परिवर्तन करेंगे। सूर्य हर महीने राशि परिवर्तन करते हैं। इस महीने 15 मई को सूर्य वृषभ राशि में प्रवेश करने जा रहे हैं। 7 जून को वृषभ राशि में बुध का भी गोचर होगा। जिसके साथ ही 7 जून को बुधादित्य योग का निर्माण होगा। इस योग को बेहद शुभ माना जाता है। बुधादित्य योग 3 राशियों को शुभ परिणाम देंगे।

कन्या

कन्या राशि वाले को बुधादित्य योग का लाभ मिलेगा। विदेश यात्रा के योग बनते नजर आ रहे हैं। आर्थिक स्थिति बेहतर रहेगी। स्वास्थ्य बेहतर रहेगा। कोई बड़ा प्रोजेक्ट हाथ लग सकता है। इसके साथ ही विदेश यात्रा के योग बनते नजर आ रहे हैं। अविवाहित लोगों को विवाह के प्रस्ताव मिल सकते हैं।

कुंभ

कुंभ राशि के जातकों को बुधादित्य योग का लाभ मिलेगा। आर्थिक पक्ष मजबूत होगा। आय में वृद्धि होगी। सूर्य के प्रभाव से निवेश में लाभ हो सकता है। नौकरी में प्रमोशन और इंक्रीमेंट के आसार नजर आ रहे हैं। साथ ही कई अन्य जगह से नौकरी के ऑफर आ सकते हैं।

मीन

मीन राशि के जातकों के लिए भी बुधादित्य राजयोग का लाभ मिलेगा। उनके आय में वृद्धि होगी। धन के नए आगमन देखने को मिलेंगे। परिवार और समाज में प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी। इसके साथ ही मांगलिक कार्य में हिस्सा ले सकते हैं। आय में उनकी रुचि बढ़ेगी। स्वास्थ्य बेहतर रहेगा।

धन राजयोग

वही कुंडली में पहले, दूसरे, पांचवें, नवे और ग्यारहवें भाव धन देने वाले होते हैं। अगर इनके स्वामियों की दृष्टि से राशि परिवर्तन संबंध बनाता है तो धन राजयोग का निर्माण होता है।

धन राजयोग के लाभ

  • इस वजह से व्यक्ति के आर्थिक जीवन में संपन्नता आती है।
  • उन्हें समृद्धि का लाभ मिलता है।
  • चुनौतियों को आसानी से पार कर जाते हैं।
  • साथ ही षड्यंत्र जैसी चीजों से बचकर निकल आते हैं।
  • जीवन में धन की जरूरत होने पर उसकी उपलब्धता सुनिश्चित होती है।

 

(Disclaimer : यह आलेख सामान्य जानकारी पर आधारित है। एमपी ब्रेकिंग न्यूज़ इसकी पुष्टि नहीं करता है। किसी भी जानकारी के लिए अपने ज्योतिषाचार्य की सलाह अवश्य लें।)