सूर्य को अग्नि, आत्मा, सफलता, उच्च पद इत्यादि का कारक माना जाता है। गुलाब का इत्र या सुगंध सूर्य की स्थिति मजबूत कर सकता है।
चंद्रमा
चंद्रमा को मन, मनोबल इत्यादि का कारक माना जाता है। चमेली का इत्र या सुगंध चंद्रदेव को कुंडली में मजबूत कर सकता है। जिससे मानसिक तनाव दूर होता है।
गुरु
देव गुरु बृहस्पति को भाग्य, विवाह, धन, ज्ञान इत्यादि का कारक माना जाता है। यह ग्रह आकाश तत्व का प्रतीक है। पीले फूल, केसर और केवड़े की खुशबू गुरु को मजबूत कर सकती है।
शनि
कस्तूरी, सौंफ और लोबान की खुशबू शनि को मजबूत कर सकती है। शनिदेव कर्मों के अनुसार फल देते हैं।
मंगल
लाल चंदन का तेल, इत्र या कोई भी सुगंध मंगल ग्रह को मजबूत करता है। मंगलदेव को साहस, ऊर्जा, पराक्रम, शक्ति इत्यादि का कारक माना जाता है।
बुध
बुध को मजबूत करने के लिए इलायची, चम्पा और यूकेलिप्टस की खुशबू का इस्तेमाल करना चाहिए। बुध को पारिवारिक जीवन, बुद्धि, इत्यादि का कारक माना जाता है।
शुक्र
शुक्र प्रेम और कामवासना के कारक हैं। जल तत्व का सुगंध इन्हें प्रिय है। शुक्र को मजबूत करने के लिए सफेद फूल, चंदन और कपूर के सुगंध का उपयोग करना चाहिए।
राहु-केतु
राहु और केतु की कृपा पाने के लिए कस्तूरी और घी की खुशबू काम आ सकती है।
(Disclaimer: इस आलेख का उद्देश्य केवल सामान्य जानकारी साझा करना है, जो ग्रंथों, मान्यताओं और विभिन्न माध्यमों पर आधारित है। MP Breaking News इन बातों के सत्यता और सटीकता की पुष्टि नहीं करता।)