Shash Rajyog 2024 : ज्योतिष शास्त्र में न्याय के देवता शनि ग्रह का बड़ा महत्व माना जाता है। शनि सभी ग्रहों में सबसे मंद गति से चलने वाले ग्रह हैं, जिन्हें एक से दूसरी राशि में जाने के लिए करीब ढाई वर्ष का समय लगता हैं, इसलिए एक ही राशि में दोबारा आने में शनि को 30 साल लग जाते है। वर्तमान में शनि मूल त्रिकोण राशि कुंभ में विराजमान है और 2025 तक यही रहेंगे, जिससे शश राजयोग का निर्माण हुआ है जो 3 राशियों के लिए बेहद लकी साबित होने वाला है।हाल ही में शनि ने गुरु के नक्षत्र पूर्वाभाद्रपद में प्रवेश किया है जो 3 अक्तूबर 2024 तक इसी में रहेंगे, ऐसे में गुरु के नक्षत्र पूर्वाभाद्रपद में शनि का आना भी शुभ माना जा रहा है।
शश राजयोग से 3 राशियों पर बरसेगी शनि की कृपा
मकर राशि : शश राजयोग जातकों के लिए वरदान से कम साबित नहीं होगा। कार्यों में सफलता हासिल करेंगे। जातकों को इस अवधि में विशेष लाभ मिल सकता है। गुरु के नक्षत्र में रहने से भाग्य का पूरा साथ मिलेगा। वाहन, संपत्ति, भूमि, प्लांट आदि खरीदने का सपना पूरा हो सकता है। उच्च शिक्षा के लिए विदेश जाने का मौका मिल सकता है। लंबे समय से रुके और अटके काम पूरे होंगे। विदेश से धन लाभ के योग है। कोर्ट-कचहरी की समस्याओं से राहत मिल सकती है।
वृश्चिक राशि : शनि का मूल त्रिकोण राशि में रहना और शश राजयोग का बनना जातकों के लिए लकी साबित हो सकता है। जातकों के जीवन पर सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा। आर्थिक स्थिति मजबूत हो सकती है। परिवार के साथ अच्छा समय बीतेगा। कोर्ट-कचहरी के मामलों में सफलता मिल सकती है। अचल संपत्ति का लाभ मिल सकता है। इस अवधि में निवेश करना हितकारी सिद्ध हो सकता है। नौकरीपेशा के लिए समय अनुकूल रहेगा। पदोन्नति के साथ इंक्रीमेंट का लाभ मिल सकता है। बेरोजगारों को नौकरी के कई अवसर मिल सकते हैं।
कुंभ राशि : 30 सालों बाद कुंभ में शनि का होना और शश राजयोग का बनना जातकों के लिए लकी साबित हो सकता है। साल 2025 त तक शनि के राशि परिवर्तन करने से इस राशि के जातकों को भाग्य का पूरा साथ मिलेगा। समाज में मान- सम्मान मिलेगा। नौकरीपेशा लोगों का प्रमोशन और इंक्रीमेंट हो सकता है। पार्टनरशिप में बिजनस करने वालों के लिए लाभ प्राप्ति के योग बनेंगे। सालभर भौतिक सुख-सुविधाओं में इजाफा देखने को मिल सकता है। हर क्षेत्र में सफलता के साथ अपार धन लाभ मिलेगा। कोर्ट-कचहरी के मामलों से निजात मिल सकती है।विदेश में व्यापार करने के साथ धन लाभ मिल सकता है।
कैसे बनता है कुंडली में शश राजयोग
ज्योतिष के मुताबिक, जब शनि लग्न भाव से या चंद्र भाव से केंद्र भाव पर हो यानि शनि देव यदि किसी कुंडली में लग्न अथाव चंद्रमा से 1, 4, 7 या 10वें स्थान में तुला, मकर या कुंभ राशि में विराजमान हो तो ऐसी कुंडली में शश योग का निर्माण होता है। जिन जातकों की कुंडली में यह राजयोग होता है उसकी धन और शौहरत में वृद्धि होती है।व्यक्ति राजाओं जैसी जिंदगी जीता है। आर्थिक संसाधनों में वृद्धि होती है।
(Disclaimer : यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं, ज्योतिष, पंचांग, धार्मिक ग्रंथों और जानकारियों पर आधारित है, MP BREAKING NEWS किसी भी तरह की मान्यता-जानकारी की पुष्टि नहीं करता है। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है।इसके सही और सिद्ध होने की प्रामाणिकता नहीं दे सकते हैं। इन पर अमल लाने से पहले अपने ज्योतिषाचार्य या पंडित से संपर्क करें)