MP Breaking News
Fri, Dec 19, 2025

शिवलिंग पर चढ़ा प्रसाद खाएं या नहीं? जानें क्या कहते हैं शिव महापुराण के नियम

Written by:Diksha Bhanupriy
Published:
भोलेनाथ का प्रसाद अगर किसी व्यक्ति को मिले तो वह उसे बड़ी प्रसन्नता के साथ ग्रहण करता है। उसे लगता है कि शिव उसके सारे दुख हर लेंगे। शिव महापुराण में शिवलिंग पर चढ़े हुए प्रसाद को लेकर कुछ नियम बताए गए हैं।
शिवलिंग पर चढ़ा प्रसाद खाएं या नहीं? जानें क्या कहते हैं शिव महापुराण के नियम

शिव महापुराण (Shiv Mahapuran) एक ऐसा धार्मिक ग्रंथ है, जिसमें भोलेनाथ की कथाओ और लीलाओं का उल्लेख देखने को मिलता है। इसमें भोलेनाथ के चमत्कारों के साथ कुछ नियम और उपाय भी बताए गए हैं, जो किसी भी व्यक्ति के जीवन को बदल सकते हैं। शिव महापुराण की कथा में शिवलिंग पर चढ़ाए गए प्रसाद को लेकर नियमों का उल्लेख किया गया है।

आमतौर पर हम जब भी किसी शिव मंदिर में जाते हैं वहां भगवान को जल दूध बेलपत्र चढ़ाने के बाद उन्हें भोग लगाते हैं। अगर आपके मन में यह सवाल है कि शिवलिंग पर चढ़ाया गया प्रसाद खाना चाहिए या नहीं तो शिव महापुराण में इस बात का उत्तर दिया गया है।

क्या कहती है शिव महापुराण (Shiv Mahapuran)

धार्मिक मान्यताओं के मुताबिक भगवान को चढ़ाया हुआ प्रसाद अगर ग्रहण किया जाता है तो व्यक्ति के जीवन के दुख धीरे-धीरे दूर हो जाते हैं और हमें आशीर्वाद मिलता है। कुछ लोग कहते हैं की शिवलिंग पर जो प्रसाद चढ़ा होता है उसे हाथ भी नहीं लगाया जाता। शिव महापुराण के मुताबिक भगवान शिव के मुख से चंडेश्वर नामक एक गण निकला था जो भूत प्रेतों का प्रधान है। शिवलिंग पर जो प्रसाद चढ़ाया जाता है वह चंडेश्वर का होता है। अगर हम उसे ग्रहण करते हैं इसका मतलब है कि हमने भूत प्रेतों के हिस्से का खा लिया है। यही कारण है कि शिवलिंग पर चढ़ाया गया प्रसाद नहीं खाया जाता। इसके विपरीत अगर मूर्ति पर प्रसाद चढ़ा है तो आप उसे खा सकते हैं।

कौन सा प्रसाद खा सकते हैं

शिव महापुराण के मुताबिक शिवलिंग पर चढ़ा हुआ प्रसाद नहीं खाना चाहिए जबकि आप पास रखा हुआ प्रसाद ग्रहण कर सकते हैं। इसके अलावा अगर चांदी, पीतल, तांबे जैसी धातु का शिवलिंग है तो इसका प्रसाद ग्रहण कर सकते हैं। भगवान की तस्वीर मूर्ति पर प्रसाद चढ़ाया है तो वह भी खाया जा सकता है। जो व्यक्ति सच्चे मन से भोलेनाथ का प्रसाद ग्रहण करता है उसके पाप नष्ट हो जाते हैं।

प्रसाद का क्या करें

सभी लोगों की अपनी अपनी मान्यताएं होती है। ऐसे में अगर आप मंदिर जा रहे हैं और वहां से आपको मिट्टी या चीनी मिट्टी से बने हुए शिवलिंग का प्रसाद मिल रहा है तो खाने की जगह आप उसे नदी में प्रवाहित कर सकते हैं।

Disclaimer- यहां दी गई सूचना सामान्य जानकारी के आधार पर बताई गई है। इनके सत्य और सटीक होने का दावा MP Breaking News नहीं करता।