ज्योतिष शास्त्र में ग्रह नक्षत्र की स्थिति के बारे में जानकारी दी गई है। इन स्थितियों के बारे में अगर हम अच्छी तरह से जान लें और इन्हें समझ लें तो अपने जीवन और भविष्य के बारे में सब कुछ पता कर सकते हैं। ग्रह नक्षत्र की स्थिति के हिसाब से कुछ उपाय भी बताए गए हैं। जिनकी मदद से हम अपने जीवन की परेशानी को दूर कर सकते हैं।
दरअसल, ज्योतिष में ग्रहों के साथ रत्नों का उल्लेख भी दिया गया है। अगर राशि और लग्न के मुताबिक इन्हें सही तरीके से धारण कर लिया जाए तो जीवन की परेशानियों से मुक्ति पाई जा सकती है। अब तक हमने आपको कई सारे रत्नों के बारे में बताया है लेकिन आज हम आपको चांदी के छल्ले के बारे में बताते हैं। इसे पहनने के कई सारे फायदे बताए गए हैं। चलिए इसका किस ग्रह से संबंध है यह जान लेते हैं और इसे पहनने के तरीके और लाभ के बारे में भी जानते हैं।

चांदी के छल्ले का महत्व (Silver Ring)
चांदी का छल्ला चंद्रमा से जुड़ा हुआ है क्योंकि चांदी चंद्रमा से जुड़ी हुई धातु है। चंद्र ग्रह मन का कारक माना गया है और यह व्यक्ति की भावनाओं को कंट्रोल करता है। चंद्रमा के साथ ये शुक्र का भी प्रतिनिधित्व करता है, जो सुख, संपत्ति, सौंदर्य, आकर्षक और प्रेम का कारक माना गया है। ऐसे में चांदी का छल्ला पहनकर चंद्रमा शुक्र दोनों की स्थिति मजबूत की जा सकती है।
होंगे ये लाभ
- चांदी का छल्ला पहनने से व्यक्ति को तनाव की समस्या से मुक्ति मिलती है और वह मानसिक शांति की प्राप्ति करता है।
- यह आर्थिक स्थिति को मजबूत बनाने का काम करता है और आय के नए स्रोत सामने लाता है।
- इसे धारण करने से वैवाहिक जीवन और लव लाइफ अच्छी चलती है। यह पति-पत्नी के बीच प्रेम बनाए रखने का काम करता है।
- इसे धारण करने से व्यक्ति को भाग्य का साथ मिलता है और वह हर क्षेत्र में सफलता की प्राप्ति करता है।
- इसे धारण करने से करियर और बिजनेस में सफलता की प्राप्ति होती है।
- जिन लोगों को शारीरिक समस्या हो रही है। इसे पहनने से उनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत हो जाती है।
कैसे पहनें
चांदी का छल्ला पहनने के लिए सोमवार का दिन सबसे उत्तम माना गया है। अगर शुक्र को मजबूत करना है तो इसे शुक्रवार के दिन भी पहन सकते हैं। पहनने से पहले इस गाय के कच्चे दूध में डालकर शुद्ध करें। अब मंत्र उच्चारण करने के बाद इसे दाएं हाथ के अंगूठे में धारण करें।
ध्यान रखें ये नियम
- चांदी का छल्ला धारण करते समय कुछ नियमों का पालन जरूरी है। ध्यान रखें इसे कभी भी शनिवार के दिन नहीं पहनें।
- अपना पहना हुआ छल्ला कभी किसी दूसरे को ना दें।
- सूर्योदय से लेकर दोपहर तक का समय इसे पहनने के लिए शुभ होता है।
Disclaimer- यहां दी गई सूचना सामान्य जानकारी के आधार पर बताई गई है। इनके सत्य और सटीक होने का दावा MP Breaking News नहीं करता।