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Sun, Dec 21, 2025

आज है सोमवती अमावस्या, भूलकर भी ना करें ये काम, वरना पुण्य फलों से रह जाएंगे वंचित

Written by:Bhawna Choubey
Published:
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साल की आखिरी अमावस्या, सोमवती अमावस्या विशेष रूप से पितरों को समर्पित होती है। इस दिन सही तरीके से पूजा-पाठ, दान और तर्पण करने से पितरों की कृपा प्राप्त होती है, अगर इस दिन कुछ गलतियां की जाए तो पितृ नाराज हो सकते हैं।
आज है सोमवती अमावस्या, भूलकर भी ना करें ये काम, वरना पुण्य फलों से रह जाएंगे वंचित

Somvati Amavasya 2024: आज, 30 दिसंबर, पौष कृष्ण पक्ष की आखिरी अमावस्या मनाई जाएगी, जिसे दर्श अमावस्या के नाम से जाना जाता है। जब अमावस्या का दिन सोमवार को पड़ता है, तो इसे सोमवती अमावस्या कहा जाता है।

इस पावन दिन पर स्नान-दान करने का विशेष महत्व है। ऐसा माना जाता है की अमावस्या के दिन किसी भी पवित्र नदी में स्नान करने से और दान करने से शुभ फलों की प्राप्ति होती है। अगर आप किसी तीर्थ स्थल पर नहीं जा पा रहे हैं, तो आप घर पर स्नान के पानी में गंगाजल मिलाकर स्नान कर सकते हैं।

सोमवती अमावस्या का महत्व (Somvati Amavasya 2024)

सोमवती अमावस्या का दिन पितरों के तर्पण, पिंडदान और श्राद्ध के लिए बहुत ही शुभ माना जाता है। ऐसा करने से पितृ दोष से छुटकारा मिलता है, साथ ही साथ पितरों का आशीर्वाद भी प्राप्त होता है।

इस दिन दान का भी विशेष महत्व है, इसलिए गरीबों और जरूरतमंदों को अन्न, धन, कपड़े आदि का दान करने से जीवन में धन-धान्य की वृद्धि होती है। अमावस्या के दिन कुछ विशेष गलतियां करने से बचना चाहिए, जिनके बारे में आज हम आपको इस आर्टिकल में बताएंगे।

सोमवती अमावस्या के दिन क्या-क्या नहीं करना चाहिए

  • अमावस्या के दिन साफ और सात्विक भोजन ही ग्रहण करना चाहिए। प्याज लहसुन से बने तामसिक भोजन से दूर रहना चाहिए, क्योंकि यह पवित्रता और आध्यात्मिकता ऊर्जा को कम कर देता है।
  • अमावस्या के दिन मन को शांत रखना चाहिए, किसी भी प्रकार के लड़ाई झगड़े या वाद विवाद में नहीं पड़ना चाहिए। मन में किसी भी प्रकार की नकारात्मकता नहीं लानी चाहिए।
  • अमावस्या के दिन बाल धोना भी वर्जित माना गया है, इसे पितरों के लिए अपमानजनक समझा जाता है, इसलिए या तो अमावस्या के एक दिन पहले बाल धोना चाहिए या फिर एक दिन बाद।
  • अमावस्या के दिन कौवा, गाय और कुत्ता का विशेष दिन होता है। इन्हें कष्ट पहुंचाने से पितरों की नाराजगी हो सकती है, इनके प्रति दया और सम्मान का भाव रखना चाहिए।
  • घर में साफ-सफाई बनाकर रखना चाहिए। अगर घर साफ-सुथरा रहता है तो ऐसे में पितरों का आशीर्वाद प्राप्त होता है, इससे सकारात्मक ऊर्जा का वास होता है।Disclaimer- यहां दी गई सूचना सामान्य जानकारी के आधार पर बताई गई है। इनके सत्य और सटीक होने का दावा MP Breaking News नहीं करता।