Sat, Dec 27, 2025

उत्पन्ना एकादशी पर बना रहा दुर्लभ सौभाग्य योग, इस प्रकार से पूजा कर पाएं भगवान विष्णु का आर्शिवाद

Written by:Sanjucta Pandit
Published:
उत्पन्ना एकादशी पर बना रहा दुर्लभ सौभाग्य योग, इस प्रकार से पूजा कर पाएं भगवान विष्णु का आर्शिवाद

Utpanna Ekadashi 2023 : उत्पन्ना एकादशी हिन्दू धर्म के महत्त्वपूर्ण त्योहारों में से एक है। पंचांग के अनुसार, 8 दिसंबर को उत्पन्ना एकादशी है जो कृष्ण पक्ष की एकादशी के रूप में मानया जाता है। इस दिन भगवान विष्णु की पूजा की जाती है और व्रत रखा जाता है। यह पर्व धार्मिक दृष्टि से महत्त्वपूर्ण होता है। लोग इस दिन उपासना, दान और पापों से मुक्ति के लिए भगवान से प्रार्थना करते हैं। बता दें कि एकादशी कई प्रकार के होते हैं, जिनमें उत्पन्ना एकादशी, परमा एकादशी, कामदा एकादशी, वरुथिनी एकादशी, अपरा एकादशी, निर्जला एकादशी, योगिनी एकादशी आदि शामिल है।

शुभ मुहूर्त 

यह प्रातः काल 5 दिसंबर को 5 बजकर 6 मिनट पर शुरू होकर अगले दिन यानी 9 दिसंबर को सुबह 6 बजकर 31 मिनट पर समाप्त होगी। वहीं, आप दोपहर 1:15 बजे से लेकर 3:20 तक पारण कर सकते हैं।

सौभाग्य योग

इस दिन देर रात 12 बजकर 05 मिनट पर सौभाग्य योग समाप्त होने जा रहा है। ज्योतिष के अनुसार, इस योग का निर्माण पूरे दिन के लिए होगा। इस दौरान आपके परिवार में खुशियों की बौछार होगी। यह समय ज्योतिष में शुभ माना जाता है और लोग इस समय में महत्त्वपूर्ण कार्यों को करते हैं।

इस प्रकार करें पूजा

  • पूजा शुरू करने से पहले ससंकल्प लें कि आप उत्पन्ना एकादशी की पूजा कर रहे हैं और भगवान विष्णु की अर्चना करेंगे।
  • जिसके बाद एक साफ और साधारण पूजा स्थल तैयार करें, जहां आप पूजा कर सकते हैं।
  • पूजा के लिए आवश्यक सामग्री जैसे फूल, जल, दीपक, धूप, नैवेद्य, तुलसी पत्ते, फल आदि को तैयार करें।
  • फिर भगवान विष्णु की मूर्ति या चित्र को जल से स्नान कराएं।
  • जिसके बाद भगवान विष्णु की पूजा करें।
  • मन्त्रों का जाप करें। फिर धूप, दीप, नैवेद्य, फल, फूल आदि समर्पित करें।
  • अंत में भगवान की आरती उतारें और उनकी स्तुति करें।

(Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। MP Breaking News किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है। किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें।)