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Sat, Dec 20, 2025

भारत के इस राज्य में स्थित है भगवान शिव का अनोखा चमत्कारी मंदिर, दिन में दो बार हो जाता है गायब

Written by:Sanjucta Pandit
Published:
भारत के इस राज्य में स्थित है भगवान शिव का अनोखा चमत्कारी मंदिर, दिन में दो बार हो जाता है गायब

Stambheshwar Mahadev Temple : हमारे देश में मंदिरों की कोई कमी नहीं है इसलिए इसे धार्मिक स्थलों वाला देश माना जाता है। पूरब से लेकर पश्चिम तक, उत्तर से लेकर दक्षिण तक चारों तरफ भगवान की धर्मस्थली है। ऐसे में सावन का पाक महीना चल रहा है। देशभर में इसे बड़े उत्साह के साथ मनाया जा रहा है। अमूमन लोगों ने 12 ज्योतिर्लिंगों के बारे में तो सुना ही होगा लेकिन आपमें से बहुत कम लोग भारत में स्थित एक ऐसे शिव मंदिर के बारे में जानते होंगे जो दिन में दो बार गायब हो जाता है। जी हां, यह किसी चमत्कार से कम तो नहीं है लेकिन यह बिल्कुल सत्य है। तो चलिए आज हम आपको इस मंदिर के बारे में विस्तार से बताते हैं…

कावी-कंबोई गांव में स्थित

दरअसल, यह मंदिर गुजरात के वडोदरा से 85 किलोमीटर दूर स्थित जंबूसर तहसील के कावी-कंबोई गांव में है। जिसका नाम स्तंभेश्वर है। बता दें कि यह मंदिर दिन में दो बार गायब हो जाता है और अपने-आप ही अपनी जगह पर वापस आ जाता है। स्तंभेश्वर महादेव मंदिर में स्थित शिवलिंग की ऊंचाई 4 फीट और इसका व्यास 2 फीट का है। यहां देश ही नहीं बल्कि विदेशों से भी श्रद्धालु पहुंचते हैं और अपनी आखों से इस अजूबा को देखते हैं।  यहां जाने वाले लोग श्रद्धा और आस्था के साथ भगवान शिव का दर्शन करते हैं और उन्हें समुद्र के भीतर भगवान के अभिषेक का आनंनद उठाते हैं।

दो बार शिवलिंग का होता है अभिषेक

श्री स्तंभेश्वर महादेव मंदिर अद्भुत और रहस्यमयी धार्मिक स्थल है जो कि अरब सागर और खंभात की खाड़ी से घिरा हुआ है। जब समुद्र के उच्च ज्वार उठते हैं तो यह मंदिर पूरी तरह से समुद्र में डूब जाता है और जब जल स्तर कम होता है तो यह मंदिर फिर से दिखने लगता है। इसलिए इसे दिन में दो बार देखा जा सकता है। ऐसी मान्यता है कि समुद्र दिन में दो बार शिवलिंग का अभिषेक करता है।

150 साल पहले हुई थी स्थापना

बता दें कि इस मंदिर की स्थापना भगवान कार्तिकेय द्वारा की गई थी। दरअसल, कार्तिकेय भगवान शिव का बहुत बड़ा भक्त था। जिसने राक्षस तारकासुर का वध किया था। जिसके बाद उन्हें अपने पाप और अपराधों के लिए क्षमा चाहिए थी। तब भगवान विष्णु ने कार्तिकेय को शिवलिंग की स्थापना कर उनसे क्षमा मांगने की सलाह दी। इस प्रकार से इस मंदिर की स्थापना हुई।

सावन में उमड़ती है भीड़

वहीं, सावन के महीने में भी यहां लोगों की काफी भीड़ उमड़ती है क्योंकि इस समय भगवान शिव के दर्शन का खास महत्व होता है। महाशिवरात्रि पर भी इस मंदिर में दर्शन के लिए दुनियाभर के श्रद्धालु पहुंचते हैं। वैसे तो यहां सालों भर टूरिस्टों की भीड़ लगी रहती है।

Stambheshwar Mahadev Temple

ऐसे पहुंचे मंदिर

वडोदरा रेलवे स्टेशन से स्तंभेश्वर महादेव मंदिर के लिए ट्रेन और बस उपलब्ध हैं। वडोदरा, भरूच और भावनगर जैसे शहरों से सड़क मार्ग से भी स्तंभेश्वर महादेव मंदिर अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है, जिससे यात्रा आसान होती है। इसके अलावा, प्राइवेट टैक्सी की सुविधा से भी आप मंदिर पहुंच सकते हैं।

Stambheshwar Mahadev Temple 4

(Disclaimer: यहां मुहैया सूचना अलग-अलग जानकारियों पर आधारित है। MP Breaking News किसी भी तरह की जानकारी की पुष्टि नहीं करता है।)