Gemology: रत्न शास्त्र ज्योतिष की एक ऐसी महत्वपूर्ण शाखा है, जो हमें यह बताती है कि कई सारी धातुओं से मिलकर बने हुए मनुष्य के शरीर पर रत्नों का बहुत गहरा प्रभाव पड़ता है। बात चाहे किस्मत की करी जाए या फिर सेहत की रत्न हर क्षेत्र में अपना गहरा प्रभाव छोड़ते हैं। अगर व्यक्ति सही राशि और लग्न के मुताबिक कोई रत्न धारण करता है तो इसका उसके जीवन पर सकारात्मक असर देखने को मिलता है।
रत्न विद्या में हर रत्न का संबंध किसी न किसी ग्रह से बताया गया है। इसका मतलब यह होता है कि रत्न हमारे जीवन में ग्रह की भूमिकाओं का प्रतिनिधित्व करते हैं। आज हम आपको जिस रत्न के बारे में बताने जा रहे हैं, वह चांद से जुड़ा हुआ है और इसे धारण करने से आपको कई तरह के लाभ होंगे।
मोती
मोती एक ऐसा रत्न है, जो देखने में बहुत खूबसूरत लगता है और इसका संबंध चंद्रमा से है। ऐसा कहा जाता है कि अगर किसी जातक की कुंडली में चंद्रमा से जुड़ा कोई दोष मौजूद है, तो मोती धारण करने से वह धीरे-धीरे समाप्त होने लगता है। सफेद रंग का मोती जब जातक धारण करता है, तो तुरंत ही इसके शुभ परिणाम दिखाई देने लगते हैं।
कौन पहन सकता है
इस रत्न से व्यक्ति की सेहत अच्छी बनी रहती है और उसका मन मस्तिष्क भी शांत रहता है। कर्क राशि के लोगों को इसे धारण करने के बाद शुभ परिणाम मिलते हैं। कर्क लग्न और राशि के अलावा मीन राशि के जातकों के लिए भी मोती लाभकारी होता है क्योंकि इस राशि के स्वामी देवगुरु बृहस्पति हैं।
मोती से लाभ
- जो लोग गुस्सैल स्वभाव के होते हैं, अगर वह मोती धारण करते हैं तो उनके गुस्से में कमी आने लगती है और वह शांति से निर्णय लेते हैं।
- इस रत्न से व्यक्ति को मानसिक शांति मिलती है। वह अपने काम पर अच्छी तरह से ध्यान दे पता है और मेहनत और लगन के जरिए कार्यक्षेत्र में सफलता और सराहना हासिल करता है।
- मोती धारण करने वाले लोगों पर हमेशा माता लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है, जिससे यह आर्थिक रूप से मजबूत बनते हैं।
- अगर आपकी या परिवार में किसी अन्य व्यक्ति की लंबे समय से तबीयत खराब है तो ये रत्न लाभकारी है।
- घर में शांति का वातावरण नहीं है, तो मोती धारण करने से आसपास से नकारात्मकता दूर होगी और सकारात्मक का वास होगा।
- जो लोग संतान प्राप्ति की कामना रखते हैं, उन्हें मोती जरूर धारण करना चाहिए। उन्हें मध्य भाग में आसमानी रंग का अर्ध्य चंद्र दिखाई देने वाला मोती पहनना चाहिए।
ऐसे करें धारण
अगर आप मोती रत्न धारण करना चाहते हैं तो इसे चांदी की अंगूठी में जड़वा लें। इसके बाद शुक्ल पक्ष के किसी भी सोमवार को इसे भगवान के समक्ष रखकर पंचामृत से स्नान करवाएं। धूप अगरबत्ती दिखा कर 108 बार गायत्री मंत्र का जप करें। इसके बाद इसे अपने सीधे हाथ की छोटी उंगली में धारण कर लें।
(Disclaimer- यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं के आधार पर बताई गई है। MP Breaking News इसकी पुष्टि नहीं करता।)