Navpancham Rajyog की खबरें

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जब भी 2 ग्रह एक दूसरे से त्रिकोण भाव में स्थित हो तो नवपंचम योग का निर्माण होता है ।नवपंचम योग तब बनता है जब दो ग्रहों के बीच की दूरी 120 डिग्री हो। इस योग में एक ही तत्व राशि होती है।

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नवपंचम योग मेष राशि के जातकों के लिए बहुत ही शुभ साबित होने वाला है। मान-सम्मान में वृद्धि होने के संकेत है। कोई शुभ समाचार की प्राप्ति हो सकती है। नौकरी के लिए अनुकूल समय है।

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वैदिक ज्योतिष के अनुसार कुंडली के कुछ राजयोग, वैभव, सुख समृद्धि के लिए जाने जाते हैं। इन राजयोग  में से एक होता है अखंड साम्राज्य राजयोग, जो अति फलदायी माना जाता है और इसके प्रभाव से जातक वैभव सुख, सफलता और सम्मान हासिल करते हैं।

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Rajyog 2023 : राजयोग का व्यक्तियों के जीवन में महत्वपूर्ण असर पड़ता है। कुंडली में शुभ ग्रह की स्थिति युति और दृष्टि से राजयोग का निर्माण होता है। उसके जीवन की कई परेशानी दूर होती है। वही सकारात्मकता की भावना अंदर विकसित होती है। 1, 4, 7 और 10 सहित त्रिकोण भाव में संबंध स्थापित होने पर राजयोग का निर्माण होता है। वही इन भावों के स्वामी के भी जितना मजबूत संबंध होगा, राजयोग उतनी ही बेहतरीन और शक्तिशाली मानी जाती है।

Navpancham Rajyog 2023 : 'भद्र योग' सहित मंगल-चंद्र से नवपंचम राजयोग का निर्माण, मिथुन-तुला सहित 3 राशियों को सम्मान, प्रतिष्ठा, गौरव, रोजगार का लाभ, मिलेगी सफलता

Navpancham Rajyog 2023: कुंडली में बुध, मंगल, बृहस्पति, शुक्र और शनि ग्रह जब केंद्र भाव में अपनी अपनी राशि में मजबूत स्थिति में बैठे रहते हैं। तब पंच महापुरुष राजयोग का निर्माण होता है। इनमें से एक भद्रा योग के निर्माण से कुंडली में जातक को को उत्तम स्वास्थ्य, प्रतिष्ठा, तरक्की और धन निवेश का लाभ होता है।

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Navpancham Rajyog : जातकों के लिए यह राजयोग अच्छा साबित होने वाला है। इस अवधि में आकस्मिक धनलाभ के योग बन रहे हैं और पदोन्नति के भी संकेत मिल रहे हैं। किस्मत का साथ मिल सकता है।

Astrology Zodiac Sign

300 साल बाद देव गुरु बृहस्पति सूर्य और मंगल के कारण नवपंचम राजयोग का निर्माण हो रहा है। मंगल मिथुन राशि में जबकि शनि कुंभ राशि में उदय कर चुके हैं। मंगल ग्रह शनि के पंचम भाव में है और मंगल से नवम भाव में शनि देव विराजमान हैं। ऐसे में नवपंचम योग का निर्माण हुआ है। आइए जानते हैं राशियों पर कैसे रहेंगे इनके प्रभाव :