मुख्तार अंसारी के परिवार की मुश्किलें खत्म होने का नाम नहीं ले रहीं। एक बार फिर पुलिस ने शिकंजा कसा है। इस बार सीधे छोटे बेटे उमर अंसारी पर कार्रवाई हुई है। गाज़ीपुर पुलिस ने उमर को रविवार देर रात लखनऊ के दारुलशफा इलाके से गिरफ्तार किया।
उस पर आरोप है कि उसने अपनी मां अफशां अंसारी के फर्जी हस्ताक्षर करके गाज़ीपुर की जिला अदालत में याचिका दायर की। ये याचिका मुख्तार अंसारी के नाम कुर्क की गई, संपत्ति को छुड़ाने के लिए लगाई गई थी। पुलिस ने बताया कि जिस संपत्ति को गैंगस्टर एक्ट के तहत कुर्क किया गया था। उसे छुड़ाने के लिए कोर्ट में अर्जी लगाई गई। इस अर्जी में अफशां अंसारी के फर्जी सिग्नेचर किए गए।
बता दें कि अफशां अंसारी के खिलाफ पहले से लुक आउट नोटिस जारी है। वो वांछित हैं और पुलिस ने उन पर 50 हजार रुपये का इनाम भी घोषित कर रखा है।
वकील भी फंसे
इस पूरे मामले में उमर अंसारी अकेले नहीं है. उसका साथ देने के आरोप में उसके वकील लियाकत अली पर भी एफआईआर दर्ज हुई है। पुलिस का कहना है कि याचिका में संलग्न दस्तावेजों पर जो हस्ताक्षर हैं। वो अफशां अंसारी के पुराने दस्तावेजों से मेल नहीं खाते। मेसर्स विकास कंस्ट्रक्शन नाम की कंपनी में अफशां अंसारी 60% की पार्टनर हैं। उस डीड में मौजूद उनके सिग्नेचर और कोर्ट में लगाई गई याचिका में दिखाए गए सिग्नेचर एक-दूसरे से बिल्कुल अलग हैं।
पुलिस का तर्क
गाजीपुर के एसपी डॉ. ईरज राजा ने बताया कि अफशां अंसारी जिन मामलों में वांछित हैं। उनमें से कुछ गाजीपुर के अलावा अन्य जिलों में भी दर्ज हैं। ऐसे में यह उम्मीद नहीं की जा सकती कि वो खुद आगे आकर कोर्ट में याचिका लगवाएंगी। इससे यह साफ होता है कि उमर अंसारी और उसके वकील लियाकत अली ने मिलकर आपराधिक साज़िश के तहत ये याचिका दाखिल की। अब मोहम्मदाबाद थाने में दोनों के खिलाफ धोखाधड़ी समेत कई गंभीर धाराओं में केस दर्ज किया गया है। उमर अंसारी को गिरफ्तार कर आगे की कार्रवाई की जा रही है।





