उत्तरप्रदेश (Uttar Pradesh) के सोनभद्र (Sonbhadra) में शनिवार को बड़ा खदान हादसा हो गया था। जिसमें कई मजदूरों के दबे होने की खबर सामने आई थी। अब तक खदान से 7 शवों को बाहर निकाला गया है जिनमें से 6 की शिनाख्त हो चुकी है। जबकि एक की पहचान अभी तक नहीं हो पाई है। इसके साथ ही प्रशासन ने किसी अन्य मजदूर के दबे होने की संभावना से इनकार करते हुए रेस्क्यू ऑपरेशन समाप्त करने की घोषणा कर दी है।
मृतक के परिजनों को मिलेगा मुआवजा
मंत्री रवींद्र जायसवाल ने सोमवार को पीड़ितों के परिवारों से मुलाकात की थी। उन्होंने कहा कि प्रत्येक मृतक के परिवार को सरकार की ओर से लगभग 20 लाख रुपए दिए जाएंगे और सभी प्रभावित मजदूरों को श्रम विभाग द्वारा संचालित योजनाओं के तहत पूरी मदद दी जाएगी।
खदान मालिक समेत 3 पर मुकादमा दर्ज
सोनभद्र के एसपी अभिषेक वर्मा ने बताया कि शनिवार को ‘कृष्णा माइनिंग वर्क्स’ की खदान में पहाड़ी का एक भाग दरकने से कई मजदूर मलबे में दब गए थे। उन्होंने बताया कि इस मामले में ‘कृष्णा माइनिंग वर्क्स’ के मालिक समेत तीन लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया था और आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए विशेष टीमों का गठन कर तलाश की जा रही है।
7 में से 6 शवों की हुई पहचान
बता दें कि खदान के मलबे में दबे 7 मजदूरों में से 6 की शिनाख्त हो चुकी है। एक की पहचान अभी भी नहीं हुई है। एनडीआरएफ की टीम ने दो बार मलबा पूरी तरह से हटा दिया है इसलिए अब वहां किसी के दबे होने की कोई संभावना नहीं है। जिन शवों की पहचान हुई है उनके नाम इस प्रकार हैं— राजू सिंह (30), इंद्रजीत (30), संतोष (30), रवींद्र (18), राम खेलावन (32) और कृपाशंकर।





