3 इडियट्स के रेंचो यानी रणछोड़दास को तो आप जानते ही होंगे। यह कैसे अपने दोस्तों को नए तरीके से जिंदगी को देखने की सीख देता है इस फिल्म में दिखाया गया है। फिल्म में रेंचो अपने दोस्तों के साथ मिलकर प्रिंसिपल की बेटी की डिलीवरी भी करवाता है। आज हम आपको एक ऐसे ही रियल लाइफ रेंचो के बारे में बताते हैं, जो गर्भवती महिला के लिए देवदूत बन गया।
मुंबई का राम मंदिर रेलवे स्टेशन इन दिनों चर्चा में बना हुआ है। इसका कारण है यहां पर हुई घटना जिसने साबित किया है कि मुसीबत में इंसान ही इंसान के काम आता है। दरअसल, हुआ यूं कि जब लोकल ट्रेन स्टेशन पर रुकी तब उसमें सफर कर रही है एक महिला को अचानक प्रसव पीड़ा हुई। मौके पर ना तो कोई डॉक्टर मौजूद था और नहीं एंबुलेंस पहुंच पा रही थी। महिला
की स्थिति गंभीर हो सकती थी लेकिन उस बीच एक युवक ने समझदारी दिखाते हुए वीडियो कॉल पर डॉक्टर से बात कर महिला की डिलीवरी करवाई।
वायरल हुआ वीडियो (Mumbai local Train Delivery)
खबर को लेकर जो जानकारी सामने आ रही है उसके मुताबिक अचानक हुई पीड़ा से महिला की हालत खराब हो रही थी। उसे देखकर यात्री घबरा रहे थे और किसी को समझ नहीं आ रहा था कि क्या करना चाहिए। स्थिति की गंभीरता को देखते हुए ट्रेन में मौजूद युवक ने इमरजेंसी चेंज कीजिए और ट्रेन को रोका। स्टेशन पर खड़े लोग घटना को देख रहे थे लेकिन समझ नहीं पा रहे थे कि क्या करना है तभी युवक ने सारी कमान अपने हाथ में ली।
प्लेटफॉर्म पर हुआ बच्चे का जन्म
जब स्टेशन पर ट्रेन रुक गई तब आसपास मेडिकल सुविधा मौजूद नहीं थी। एंबुलेंस भी महिला को अस्पताल ले जाने के लिए नहीं आ पा रही थी। यह देखकर युवक ने अपने दोस्त को कॉल लगाया और डॉक्टर के निर्देश के मुताबिक महिला का प्रसव करवाया। प्लेटफॉर्म पर थोड़ी देर की मशक्कत के बाद आखिरकार बच्चे का जन्म हुआ। इस दौरान सबसे अच्छी बात ये रही कि जच्चा और बच्चा दोनों स्वस्थ्य थे।
A man didn’t wait for anyone.
At 1 AM in a Mumbai local, when chaos broke out as a woman went into labour and everyone froze
— Vikash Bendre stepped up.He pulled the chain.
Got a doctor on video call.
And helped deliver a baby inside a train. 🚆👶No training. No… pic.twitter.com/okL60jYpf8
— ShoneeKapoor (@ShoneeKapoor) October 16, 2025
युवक को मिली तारीफें
जिस युवक ने महिला और उसके बच्चे को जिंदगी दी वह कोई और नहीं बल्कि 27 वर्ष के विकास बेंद्रे हैं, जिसे लोग असली जिंदगी का रैंचो बोल रहे हैं। आखिर बोलें भी क्यों ना विकास की कोशिश आखिरकार ऑल इज वेल साबित हुई। सोशल मीडिया और न्यूज़ चैनल पर जैसे ही ये खबर सामने आई लोगों ने युवक की समझदारी की जानकारी तारीफ की। सभी उसकी इंसानियत तो बहादुर के जब्बे से प्रभावित दिखाई दिए। बिना किसी मेडिकल ट्रेनिंग के मुश्किल घड़ी में धैर्य के साथ युवक ने जो काम किया वह काबिले तारीफ है।





