भोपाल: भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS) के अधिकारी संतोष वर्मा अपने एक कथित बयान को लेकर फिर विवादों में घिर गए हैं। भाजपा प्रदेश कार्यसमिति के सदस्य डॉ. रमेश दुबे ने उनके बयान पर गहरी आपत्ति जताते हुए उन पर राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (NSA) के तहत कार्रवाई करने और उन्हें तत्काल सेवा से बर्खास्त करने की मांग की है।
डॉ. दुबे ने आरोप लगाया कि IAS संतोष वर्मा ने भोपाल में सार्वजनिक मंच से ब्राह्मण समाज को लेकर अत्यंत घृणास्पद और आपत्तिजनक टिप्पणी की। उन्होंने इसे सामाजिक समरसता को बिगाड़ने वाला और सिविल सेवा आचरण अधिनियम का घोर उल्लंघन बताया है।
सरकार से तत्काल कार्रवाई की मांग
डॉ. रमेश दुबे ने सरकार से मांग करते हुए कहा कि संतोष वर्मा पर तुरंत एनएसए के तहत कार्यवाही होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि वर्मा की आपराधिक प्रवृत्ति है और वह पहले भी कई आरोपों में जेल जा चुके हैं, ऐसे में उन्हें किसी प्रशासनिक पद पर रहने का कोई अधिकार नहीं है।
“संतोष वर्मा ने सामाजिक ताने-बाने को क्षतिग्रस्त कर समाज में आग लगाने का जो प्रयास किया है, वह बेहद निंदनीय है। ब्राह्मण समाज की बेटियों के बारे में इतने नीचता भरे कथन से सारी मानवता शर्मसार हुई है।” — डॉ. रमेश दुबे, सदस्य, भाजपा प्रदेश कार्यसमिति
‘न्याय नहीं कर सकता ऐसा अधिकारी’
भाजपा नेता ने अपनी चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि ऐसी सोच वाला व्यक्ति जातिवादी व्यवस्था का अनुयायी होता है। वह कभी भी जनता के साथ न्याय नहीं कर सकता और न ही संविधान का पालन कर सकता है।
डॉ. दुबे ने कहा, “एक ओर देश और प्रदेश की सरकार महिला सशक्तिकरण के लिए काम कर रही है, वहीं दूसरी ओर इस मानसिकता के लोग देश में विद्रोह फैलाने का काम कर रहे हैं।” उन्होंने सरकार से वर्मा पर कड़ी से कड़ी कार्रवाई करने की अपील की, ताकि समाज में पनपे आक्रोश को शांत किया जा सके।





