MP School: निजी स्कूलों के लिए राज्य शासन का बड़ा फैसला, छात्रों को मिलेगा लाभ

Kashish Trivedi
Published on -
winter vacation

भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। निजी स्कूलों (Private schools) को शिक्षा के अधिकार के तहत निशुल्क प्रवेश की फीस प्रतिपूर्ति नहीं होने की वजह से स्कूलों ने गरीब बच्चों के निशुल्क प्रवेश को अधर में लटका दिया था। इसके बाद और राज्य शिक्षा केंद्र (State education center) ने निजी स्कूलों को शिक्षा के अधिकार के तहत फीस प्रतिपूर्ति करने के निर्देश दिए हैं। वह इस मामले में आयुक्त लोकेश कुमार जाटव (Lokesh kumar jatav) ने सभी जिला कलेक्टरों को पत्र लिखा है और कहा है कि निशुल्क प्रवेश की फीस प्रतिपूर्ति प्रस्ताव का फौरन निराकरण किया जाए।

दरअसल निजी स्कूल में निम्न आय वर्ग के विद्यार्थियों को प्रवेश निशुल्क दिया जाता है। वहीं इसकी फीस शिक्षा के अधिकार अधिनियम के तहत राज्य शासन के राज्य शिक्षा केंद्र से भुगतान की जाती है। प्रदेश में निजी स्कूलों के कई ऐसे लंबित मामले हैं। जहां निशुल्क प्रवेश की फीस प्रतिपूर्ति नहीं की गई है। इसको लेकर निजी स्कूलों ने राज्य शिक्षा केंद्र में अर्जी दी थी। अब इस पर राज्य शिक्षा केंद्र ने निजी स्कूलों को शिक्षा के अधिकार के तहत निशुल्क प्रवेश की फीस प्रतिपूर्ति शीघ्र करने के आदेश दिए हैं। इसके साथ ही शिक्षा केंद्र ने 3 दिन के अंदर प्रस्ताव पर निर्णय करने के लिए कहा है।

राज्य शिक्षा केंद्र के आयुक्त लोकेश कुमार जाटव ने सभी जिलों के लोगों को पत्र लिखकर कहा है कि तय समय सीमा के अंदर स्कूल के प्राप्त प्रस्ताव का निराकरण किया जाए। इसके लिए राज्य शिक्षा केंद्र ने आवश्यक राशि भी भेज दी है। इसके साथ ही साथ 15 दिन के अल्टीमेटम में सभी निजी स्कूलों के लंबित प्रस्ताव के निराकरण के आदेश दिए गए हैं।

Read More: MP Board: माशिमं ने परीक्षा से पहले 10वीं और 12वीं के छात्रों को दी बड़ी राहत

बता दे कि मध्य प्रदेश में निजी स्कूलों में निम्न आय वह गरीब विद्यार्थियों का प्रवेश निशुल्क मिलते हैं। वही इन निशुल्क फीस का भुगतान राज्य सरकार के राज्य शिक्षा केंद्र द्वारा किया जाता है। निजी स्कूल का कहना है कि लंबे समय से उनकी फीस प्रतिपूर्ति नहीं की गई है और इसके लिए वह सरकार से गुहार लगा रहे हैं। उनका कहना था कि उन्होंने इस मामले में कई बार विभागीय अधिकारियों से बातचीत हुई कि जहां उन्हें कार्रवाई सुनिश्चित करने के लिए कहा गया। लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई।

ज्ञात हो कि पिछले कई वर्षों से निजी स्कूलों को निशुल्क प्रवेश की फीस प्रतिपूर्ति नहीं की गई है और इसके लिए वह राज्य शासन से लगातार गुहार लगा रहे हैं। इस मामले में अब राज्य शिक्षा केंद्र के आयुक्त द्वारा दिए गए आदेश के बाद प्रकरण का शीघ्र निराकरण किया जाएगा। जिससे मध्यमवर्गीय और गरीब बच्चों की शिक्षा व्यवस्था में किसी भी तरह की कमी ना आए।


About Author
Kashish Trivedi

Kashish Trivedi

Other Latest News