जगदलपुर सर्किट हाउस में चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी के साथ कथित मारपीट और गाली-गलौज के मामले में छत्तीसगढ़ के वन और परिवहन मंत्री केदार कश्यप के खिलाफ कांग्रेस पार्टी ने आज रायपुर और जगदलपुर में उग्र प्रदर्शन किया। कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने मंत्री की बर्खास्तगी की मांग को लेकर रायपुर में उनके सरकारी आवास और जगदलपुर में भानुपुरी कार्यालय का घेराव किया। इस दौरान पुलिस और कांग्रेस कार्यकर्ताओं के बीच तीखी झड़प हुई, जिसमें कई सुरक्षाकर्मी घायल हो गए और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया।
रायपुर शहर और ग्रामीण कांग्रेस कमेटी ने मंत्री केदार कश्यप के सरकारी आवास के घेराव के लिए राजीव चौक से रैली निकाली। मोती बाग चौक पर पुलिस ने कार्यकर्ताओं को रोकने की कोशिश की, लेकिन कांग्रेस कार्यकर्ता आगे बढ़ने पर अड़े रहे, जिससे झूमाझटकी हुई। प्रदर्शन के दौरान कार्यकर्ताओं ने कश्यप के खिलाफ नारेबाजी की और उनके तत्काल इस्तीफे की मांग की। प्रदर्शन में पूर्व विधायक विकास उपाध्याय, पूर्व महापौर प्रमोद दुबे और जिला कांग्रेस अध्यक्ष गिरीश देवांगन शामिल रहे। उपाध्याय ने आरोप लगाया कि पुलिस ने कार्यकर्ताओं के साथ जबरदस्ती की, जिससे कई कार्यकर्ता घायल हुए।
जगदलपुर में पत्थरबाजी और महिला पुलिसकर्मियों को चोट
जगदलपुर में भी कांग्रेस ने केदार कश्यप के भानुपुरी कार्यालय और आवास का घेराव किया। इस दौरान किसी ने कार्यालय पर पत्थर फेंका, जिससे कांच टूट गया। पुलिस और कांग्रेस कार्यकर्ताओं के बीच हुई झड़प में कई महिला पुलिसकर्मी घायल हो गईं। प्रदर्शनकारियों ने कश्यप के खिलाफ नारेबाजी करते हुए उनकी बर्खास्तगी की मांग को दोहराया। इस घटना ने मामले को और तूल दे दिया, जिससे दोनों पक्षों के बीच तनाव बढ़ गया।
बीजेपी का पलटवार; कांग्रेस पर गुंडागर्दी का आरोप
बीजेपी प्रवक्ता अमित चिमनानी ने कांग्रेस के प्रदर्शन को हार की निराशा का परिणाम बताते हुए इसे गुंडागर्दी करार दिया। उन्होंने कहा कि कार्यालय में पत्थरबाजी और महिला पुलिसकर्मियों के साथ बदसलूकी निंदनीय है। चिमनानी ने कांग्रेस नेता चरणदास महंत पर तंज कसते हुए कहा कि उन्होंने कांग्रेस कार्यकर्ताओं को ‘चमचा’ कहा था, लेकिन उनकी तोड़फोड़ और हिंसा की प्रवृत्ति को भी उजागर करना चाहिए था। बीजेपी ने इस प्रदर्शन को राजनीतिक हताशा का परिणाम बताया।





