लखनऊ, डेस्क रिपोर्ट। प्रदेश सरकार (state government) ने एक बार फिर से कर्मचारी पेंशनर्स (Employees-pensioners) के लिए बड़ी घोषणा की है। दरअसल प्रदेश सरकार द्वारा सेवानिवृत और मृत्यु कर्मचारी सहित पेंशनर्स (pensioners) की मानसिक या शारीरिक निशक्त सहयोग राशि संतान को भी पारिवारिक पेंशन (family pension) का लाभ मिलेगा। इसके लिए आय के मानदंड तय कर दिए गए हैं। राज्य शासन ने आदेश जारी किया हैं। जिसमें कहा गया कि दिवंगत सरकारी कर्मचारी और पेंशनभोगी कि निशा को जीवन पर पारिवारिक पेंशन का लाभ दिया जाएगा और वह जीवन भर पारिवारिक पेंशन की हकदार होगी।
जारी आदेश के मुताबिक यदि निश्चित संतान के साधारण दर पर स्वीकार्य पारिवारिक पेंशन उस पर स्वीकार्य महंगाई राहत से कम है तो उसे यह लाभ दिया जाएगा। इतना ही नहीं वित्तीय लाभ इस शासनादेश के जारी होने की तिथि से देना होगा और सरकारी कर्मचारी पेंशन होगी और पूर्व पेंशन होगी। पेंशनर्स की मृत्यु की तारीख से शुरू होने वाली अवधि के लिए इसके बकाए स्वीकृत नहीं किए जाएंगे।
योगी सरकार ने दिवंगत कर्मचारी पेंशन भोगी की सैलरी और मानसिक निशक्तता से ग्रस्त संतान के लिए पारिवारिक पेंशन की शर्त आसान कर दी है। ऐसे निशक्तजन संतान अब जीवन भर पारिवारिक पेंशन की पात्रता रखेंगे। वहीं अन्य स्रोतों से कुल मासिक आय मृत कर्मचारी पेंशन होगी द्वारा आहरित अंतिम वेतन के 30% और अस्वीकार्य महंगाई राहत से कम है। हालांकि इसके लिए सेट भी निश्चित किया गया शर्त यह है कि सक्षम चिकित्सा पदाधिकारी द्वारा उसे निशक्तजन प्रमाण पत्र जारी किया हो।
बुधवार को वित्त विभाग ने इसके लिए शासनादेश जारी करते हुए कहा है कि राज्य सरकार द्वारा यह कदम केंद्र सरकार के कार्मिक लोक शिकायत और पेंशन मंत्रालय के पेंशन और पेंशनभोगी कल्याण विभाग की ओर से 8 फरवरी 2021 को जारी किए गए आदेश के पालन हेतु उठाया गया है। इसमें दिवंगत कर्मचारी पेंशनर्स की शारीरिक और मानसिक क्षमता से निशक्त संतान को पारिवारिक पेंशन के भुगतान के लिए यह व्यवस्था थी कि सभी स्रोत से उनके मासिक आय 9000 से कम होनी चाहिए। इसका लाभ लाखों कर्मचारियों पेंशनर्स को मिलेगा।