भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। प्रदेश में एक तरफ जहां शासकीय स्कूल (MP Government school) में बड़े पैमाने पर शिक्षकों की भर्ती (MP Teachers Recruitment) आयोजित की जाएगी। वहीं शिक्षकों की नियुक्ति (teacher appointment) को लेकर भी नवीन आदेश जारी किए गए हैं। दरअसल स्कूल में शिक्षकों की नियुक्ति के दौरान पैनल में शामिल अतिथि शिक्षकों (Guest faculty) को पहली प्राथमिकता दी जाएगी। इसके लिए आदेश भी जारी कर दिया गया है। रिक्त पदों पर आवेदन मांगे गए हैं। उन पदों पर पहली प्राथमिकता अतिथि शिक्षकों को दी जाएगी।
लोक शिक्षण संचालनालय द्वारा आदेश जारी किया गया जिसमें कहा गया है कि राजधानी भोपाल सहित कई जिलों में सैकड़ों अतिथि शिक्षकों की सेवाएं स्कूल में नहीं लेने के मामले सामने आ रहे हैं।हाईकोर्ट के आदेश का पालन नहीं किया जा रहा है। दरअसल कई शिकायतें अभी भी डीपीआई के पास पहुंचे। जिसके बाद DPI संचालक ने आदेश जारी कर दिए। जारी आदेश के मुताबिक अतिथि स्कूल शिक्षक के पैनल में पहले से हैं, उन्हें शिक्षकों को पढ़ाने के लिए प्राथमिकता में रखा जाएगा।
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हाई कोर्ट ने फैसला देते हुए कहा था कि स्कूल पैनल में जो अतिथि शिक्षक पहले से मौजूद हैं और वह पढ़ाने के इच्छुक हैं उनसे लिखित में सहमति पत्र लेकर रिकॉर्ड मेंटेन किया जाए। इसके अलावा ऐसे अतिथि जो शिक्षकों पढ़ाने के इच्छुक नहीं है उनसे भी सहमति पत्र लेना अनिवार्य है। ऐसे में इनमें सबसे पहले अतिथि शिक्षकों को प्राथमिकता दी जाएगी। उसके बाद यदि स्कूलों में पद रिक्त रहता है तो उस पर विषय वॉल पैनल बनाकर नए अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति की जाएगी।
इसके अलावा भी मध्य प्रदेश में 14000 शिक्षकों की भर्ती का निर्णय लिया गया। बता दें कि शासकीय स्कूल में 100000 से अधिक शिक्षकों के पद रिक्त हैं। जिससे बच्चों की पढ़ाई प्रभावित हो रही है। ऐसे में विभाग द्वारा 20,000 अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति का फैसला लिया गया है। जिसकी प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। साथ ही मध्य प्रदेश शासन द्वारा 14000 शिक्षकों की भर्ती की जाएगी। जिसमें 9000 उच्च माध्यमिक शिक्षा की 5000 माध्यमिक शिक्षक के पद पर भर्ती प्रक्रिया का आयोजन किया जाएगा।
इसके लिए प्रक्रिया सुनिश्चित की जा रही है। इनकी नियुक्ति के लिए क्या एजेंडा होगा। इसके लिए किस तरह की प्रक्रिया अपनाई जाएगी और दस्तावेज की सत्यापन सहित अन्य सभी कार्यशैली पर विचार किया जा रहा है। जिसके बाद इस मुद्दे को आगे बढ़ाया जाएगा। ज्ञात हो कि मध्य प्रदेश से पहले से 40000 अतिथि शिक्षक कार्यरत हैं। वही 20000 की नियुक्ति की जा रही है। बावजूद इसके प्रदेश में 40000 शिक्षकों की कमी देखी जाएगी।