राजस्थान, डेस्क रिपोर्ट। राजस्थान (rajasthan) में एक बार फिर से सियासी हलचल तेज हो गई है। एक तरफ जहां कांग्रेस (congress) के कैबिनेट विस्तार (cabinet expansion) से पहले कई विधायक (MLAs) असंतोष से लबरेज है। वहीं दूसरी तरफ BJP ने मुख्यालय के बैनर और पोस्टर (poster) बदल दिए हैं। हालांकि पार्टी के बदले हुए पोस्टर से बीजेपी के दिग्गज नेता वसुंधरा राजे (Vasundhara Raje Scindia) की तस्वीर को हटा दिया गया है। वही 20 सालों में यह पहला मौका है, जब राजस्थान बीजेपी के पोस्टर होर्डिंग में राजे के तस्वीर का ना होना चर्चा का विषय बन गया है।
दरअसल बीजेपी राजस्थान से लंबे समय से हाईकमान और वसुंधरा राजे के बीच सब कुछ सही नहीं चल रहा है। कई बार ऐसे सवाल खड़े हुए जब राजस्थान बीजेपी (rajasthan bjp) के उपचुनाव के दौरान भी वसुंधरा राजे को जनता के बीच नहीं देखा गया। वहीं उनके स्थान पर उनके भतीजे ज्योतिरादित्य सिंधिया (jyotiraditya scindia) को स्टार प्रचारक नियुक्त किया गया था।
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बता दें कि राजनीति में होर्डिंग और पोस्टरों पर से तस्वीर गायब होने के कई सियासी मायने निकाले जाते हैं। वही राजस्थान में वसुंधरा 2013 से 18 तक राज्य की मुख्यमंत्री रह चुकी है। अब ऐसी स्थिति में उच्च पद पर सुशोभित वरिष्ठ नेता का इस तरह होर्डिंग से गायब हो जाना बीजेपी के अंदर ही विवाद की स्थिति उत्पन्न कर रहा है। इस मामले में राजे समर्थक का कहना है कि राजस्थान में राजे जरूरी है और BJP की यही मजबूरी भी है।
जबकि दूसरी तरफ इस मामले में बीजेपी का कहना है कि होर्डिंग पोस्टर पर नेताओं की तस्वीर ना होना कोई बहुत बड़ी बात नहीं है। नए लोग आते रहते हैं, जब भी पुराने लोग जाते रहते हैं। मामले में बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया का कहना है कि होल्डिंग में किसकी तस्वीर लगेगी, यह पार्टी कमेटी तय करती है। ऐसे बदलाव समय की नियति होते हैं। जबकि दूसरी तरफ वसुंधरा समर्थक होर्डिंग में वसुंधरा राजे की तस्वीर ना होने पर पार्टी से विपरीत सोच रखते हैं। इस मामले में वसुंधरा समर्थक पूर्व विधायक का कहना है कि वसुंधरा राजे के बिना बीजेपी राजस्थान की सत्ता में वापसी नहीं कर सकती है।