भोपाल समेत इन संभागों में 4 अप्रैल से समर्थन मूल्य पर गेहूं खरीदी, ये रहेंगे नियम, जानें रेट

Pooja Khodani
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भोपाल, डेस्क रिपोर्ट।Wheat Procurement. मध्यप्रदेश (Madhya Pradesh) के इंदौर एवं उज्जैन संभाग के जिलों में सोमवार 28 मार्च से समर्थन मूल्य (support price) पर गेहूं खरीदी शुरू हो गई है, जो 10 मई, 2022 तक चलेगी।इस वर्ष गेहूँ का समर्थन मूल्य 2015 रुपये प्रति क्विंटल निर्धारित किया गया है, जो विगत वर्ष से 40 रुपये प्रति क्विंटल अधिक है।  वही 4 अप्रैल से 16 मई तक नर्मदापुरम, जबलपुर, रीवा, शहडोल, सागर, ग्वालियर, भोपाल एवं चम्बल संभाग के जिलों में खरीदी की जायेगी।

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पहले दिन गेहूं की खरीदी फीकी फीकी सी रही।कहीं किसानों ने रुचि नहीं दिखाई तो कहीं मंडी कर्मचारी ही नाराज रहे। धार-नीमच में एक भी किसान नहीं पहुंचे तो वही राजगढ़ में भी कई खरीदी केंद्रों पर एक भी किसान अपनी उपज लेकर ही नहीं पहुंचे। झाबुआ और इंदौर समेत अन्य जिलों में भी हाल कुछ ऐसा ही रहा, वही बड़वानी में कर्मचारियों की हड़ताल ने असर डाला।उम्मीद है कि आज मंगलवार को खरीदी के दूसरे दिन मंडियों में रौनक देखने को मिल सकती है।

इस साल गेहूँ उपार्जन के लिये 19 लाख 81 हजार किसानों ने पंजीयन कराया, जो विगत वर्ष का 80 प्रतिशत है। इसमें कुल रकबा 42.24 लाख हेक्टेयर है, जो विगत वर्ष से 84 प्रतिशत अधिक है। इसके लिए प्रदेशभर में चार हजार 663 केंद्र बनाए गए हैं। उपार्जन से पहले पंजीकृत किसान की पात्रता की जांच नोडल अधिकारी करेंगे। किसानों को उपज का भुगतान आधार से लिंक खाते में किया जाएगा। इस बार किसानों को उपज बेचने के लिए SMS नहीं भेजे जाएंगे। किसानों ने अपनी मर्जी से उपार्जन केंद्र और उपज बेचने की तारीख का चयन किया है।

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किसानों को उसकी उपज का भुगतान उनके आधार लिंक खाते (Bank Account Link To Aadhaar)  में करने की व्यवस्था की गई है, ताकि किसी भी प्रकार की त्रुटि की संभावना को समाप्त किया जा सके।इसके लिए किसान को बैंक शाखा में जाकर खाते को आधार से लिंक कराना होगा। किसान द्वारा एफक्यू मापदण्ड का गेहूँ विक्रय के लिये लाया जाता है, तो उसकी साफ-सफाई की आवश्यकता नहीं होगी। परंतु परीक्षण में गेहूँ नॉन एफक्यू पाया जायेगा, तो उन्हें अपना गेहूँ साफ कराना होगा। विभाग द्वारा उपार्जन केन्द्र पर गेहूँ की सफाई की अतिरिक्त व्यवस्था की गई है।

ये रहेंगे नियम

  • किसानों को फसल बेचने के लिये एसएमएस की प्रतीक्षा नहीं करना होगी।अब वे स्वयं स्लॉट बुकिंग कर अपनी पसंद के उपार्जन केन्द्र और विक्रय के लिये दिनांक तथा समय का चयन www.mpeuparjan.nic.in पर कर सकेंगे।
  • उपार्जन सोमवार से शुक्रवार तक प्रात: 9 से दोपहर एक बजे तक एवं 2 बजे से 6 बजे तक किया जायेगा।फसल विक्रय के लिये स्लॉट की वैधता 3 कार्य दिवस के लिये होगी।
  • स्लॉट बुकिंग करने के पश्चात कृषक उपार्जन केन्द्र का नाम, विक्रय योग्य मात्रा एवं विक्रय के दिनांक की जानकारी का प्रिंट निकाल सकेंगे।किसान द्वारा एफक्यू मापदण्ड का गेहूँ विक्रय के लिये लाया जाता है, तो उसकी साफ-सफाई की आवश्यकता नहीं होगी।
  • परंतु परीक्षण में गेहूँ नॉन एफक्यू पाया जायेगा, तो उन्हें अपना गेहूँ साफ कराना होगा।विभाग द्वारा उपार्जन केन्द्र पर गेहूँ की सफाई की अतिरिक्त व्यवस्था की गई है।
  • खाता आधार से लिंक कराना अनिवार्य।शासन द्वारा पंजीयन करने के लिये आधार नम्बर आधारित बायोमेट्रिेक/OTP सत्यापन के आधार पर पंजीयन की व्यवस्था की गई थी।

 


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खबर वह होती है जिसे कोई दबाना चाहता है। बाकी सब विज्ञापन है। मकसद तय करना दम की बात है। मायने यह रखता है कि हम क्या छापते हैं और क्या नहीं छापते। "कलम भी हूँ और कलमकार भी हूँ। खबरों के छपने का आधार भी हूँ।। मैं इस व्यवस्था की भागीदार भी हूँ। इसे बदलने की एक तलबगार भी हूँ।। दिवानी ही नहीं हूँ, दिमागदार भी हूँ। झूठे पर प्रहार, सच्चे की यार भी हूं।।" (पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर)

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