Nobel Prize 2022: स्वीडन के स्वांते पाबो को मिला नोबेल पुरस्कार, मेडिसिन क्षेत्र में रहा विशेष योगदान, जानें

Manisha Kumari Pandey
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नई दिल्ली, डेस्क रिपोर्ट। मेडिसिन क्षेत्र में दिए जाने वाले नोबेल पुरस्कार (Nobel Prize 2022) की घोषणा हो चुकी है। इस साल स्वीडन के स्वांते पाबो (Svante Paabo) को मेडिसिन क्षेत्र में विशेष योगदान निभाने के कारण नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया है। स्वांते पाबो प्रसिद्ध जेनेटिस्ट में से एक हैं। उन्होंने विलुप्त होमिनिन और मानव विकास के जीमोन से जुड़ी खोजों के लिए मेडिसिन केटेगरी में नोबेल पुरस्कार को अपने नाम किया है। स्टॉकहोम में स्थित करोलिंस्का संस्थान के पैनल ने प्राइज़ की घोषणा की है। स्वांते पाबो के परिवार ने पुरुस्कार की घोषणा के बाद खुशी जाहीर करते हुए पैनल को धन्यवाद किया।

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बता दें स्वांते पाबो विकासवादी आनुवंशिकी क्षेत्र में एक्सपर्ट हैं। उन्होनें निएंडरथल जीनोम पर काफी काम भी किया है। निएंडरथल मानव होमो वंश का विलुप्त सदस्यों में से एक है, जिसकी खोज काफी मुश्किल थी। लेकिन पाबो ने इसकी खोज को संभव कर दिखाया।

जर्मनी के निअंडर में आदिमानव के अवशेष पाए गए थे, इसलिए इस होमो वंश को निएंडरथल नाम दिया है। मंगलवार को भौतिकी के नोबेल प्राइज़ की घोषणा होगी। इसके बाद बुधवार को रसायन क्षेत्र में नोबेल प्राइज़ की घोषणा की जाएगी। उसके अगले दिन गुरुवार को साहित्य नोबेल प्राइज़ की घोषणा होनी है। शुक्रवार को अर्थशास्त्र के नोबेल पुरुस्कार की घोषणा की जाएगी।

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नोबेल पुरुस्कार को विभिन्न क्षेत्र में दिया जाता है। भौतिक विज्ञान, रसायन विज्ञान, अर्थशास्त्र, फिजियोलॉजी और मेडिकल, साहित्य और शांति के क्षेत्र में उत्कृष्ट योगदान देने वाले लोगों को नोबेल प्राइज़ से सम्मानित किया जाता है। इस पुरस्कार की शुरुआत मशहूर उद्योगपति अल्फ्रेड नोबेल के नाम पर किया गया था। पुरुस्कार के विजेता को 9 लाख डॉलर की राशि दी जाती है।


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