Agar Malwa News Today: मध्य प्रदेश के आगर मालवा क्षेत्र से एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है। यहां पर शासकीय माध्यमिक विद्यालय बीजा नगरी में संविदा वर्ग 2 शिक्षिका पद पर पदस्थ एक महिला को तीसरी बार मां बनने के चलते नौकरी से निकाल दिया गया। नौकरी जाने के चलते महिला काफी परेशान है और अब वह मदद के लिए कोर्ट का दरवाजा खटखटाएगी।
Agar Malwa में अनोखा मामला
जानकारी के मुताबिक बीजा नगरी में शिक्षिका पद पर पदस्थ रहमत बानो को साल 2009 में तीसरा बेटा हुआ था। इसकी शिकायत मध्य प्रदेश शिक्षक कांग्रेस संघ द्वारा की गई थी। जब मामले में जांच की गई, तो संयुक्त संचालक लोक शिक्षण संभाग की ओर से उनकी सेवा समाप्त कर दी गई।
रहमत केमिस्ट्री की शिक्षिका थी और साल 2003 में ही उनकी संविदा वर्ग 2 के पद पर भर्ती हुई थी। बड़ोद के शासकीय कन्या उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में उन्होंने संकुल प्राचार्य के रूप में भी पदभार संभाला है।
शिक्षिका की जुबानी
रहमत ने बताया कि 2000 में उन्होंने बेटी रहनुमा, 2006 में बेटे मुशाहिद और 2009 में तीसरे बेटे मुशर्रफ को जन्म दिया था। पति उर्दू मदरसा में काम करते हैं घर और बच्चों की जिम्मेदारी मुझ पर थी, लेकिन अब किस तरह से सब कुछ संभालूंगी यह समझ नहीं आ रहा है।
महिला ने यह भी बताया कि मुझे नियम की जानकारी थी, लेकिन जब बच्चे का पता चला तो बहुत देर हो गई थी। गर्भपात कराने की स्थिति में डॉक्टर ने मेरी और बच्चे की जान को खतरा बता दिया था। यही वजह थी कि बच्चे को जन्म देने का फैसला किया। तीनों बच्चों की पढ़ाई चल रही है और उनकी फीस भरना है और घर भी चलाना है। एकदम से नौकरी चले जाने से बहुत परेशानी का सामना करना पड़ेगा।
शासन का आदेश
हाल ही में शिक्षिका के खिलाफ एक आदेश भी जारी किया गया है। जिसमें प्रदेश सिविल सेवा अधिनियम 1961 के नियम 6 में दिए गए प्रावधान का पालन ना करने पर उन पर सेवा समाप्ति की कार्रवाई की गई है। प्रावधान के तहत ऐसे उम्मीदवार जिनकी दो से ज्यादा संतान हैं और जिनमें से एक का जन्म जनवरी 2001 या उसके बाद हुआ है, वह किसी सेवा या पद के लिए नियुक्ति के पात्र नहीं होंगे, इसलिए रहमत की सेवा खत्म की गई।
आगर जिले में कई मामले
महिला ने यह भी बताया है कि मुझे टारगेट कर शिकायत की गई है। हाल ही में सिर्फ बड़ोद की बनाई गई लिस्ट में 1 दर्जन से अधिक ऐसे कर्मचारी शामिल हैं, जिन्हें 2001 के बाद तीसरी संतान हुई, लेकिन उन पर कार्रवाई नहीं हुई है।