बैतूल, वाजिद खान। हैदराबाद से हजरत निजामुद्दीन की ओर जाने वाली दक्षिण एक्सप्रेस ट्रेन (south express train) गुरूवार दोपहर 1.45 बजे बैतूल (Betul) के घोड़ाडोंगरी (Ghoradongri) के पास हादसे का शिकार होते-होते बच गई। दरअसल इंजन के मोटर में तकनीकी खराबी आने के कारण चक्के के ऊपरी हिस्से में तेज आग (Fire) लग गई। आग से ट्रेन में धुंआ उठने लगा। लोको पायलट (ड्रायवर) ने सूझबूझ का परिचय देते हुए घोड़ाडोंगरी पहुंचने के पहले रेलवे गेट के पास इमरजेंसी ब्रेक लगाकर ट्रेन रोक दी और अग्निशामक यंत्र का उपयोग कर आग पर कुछ देर बाद काबू पा लिया। जिसके बाद धीमी गति से ट्रेन घोड़ाडोंगरी स्टेशन लाई गई। धाराखोह से दूसरा इंजन बुलाकर 1 घण्टे बाद ट्रेन इटारसी की ओर रवाना की गई।
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मोटर में तकनीकी खराबी आई
बताया जा रहा है कि बैतूल से दक्षिण एक्सप्रेस करीब 12.50 बजे घोड़ाडोंगरी के लिए रवाना हुई थी। धाराखोह से होकर जब ट्रेन घोड़ाडोंगरी पहुंचने ही वाली थी इस दौरान चालक का ध्यान अचानक इंजन के निचले हिस्से में लगी आग की ओर गया। चालक और सहचालक सूझबूझ का परिचय देते हुए घोड़ाडोंगरी के रेलवे गेट के पास तक ट्रेन में इमरजेंसी ब्रेक लगाकर रोक दी। ट्रेन में मौजूद अग्निसमन यंत्र का उपयोग कर आनन-फानन में आग बुझाने के प्रयास किए। यह तो शुक्र है कि उस समय आग ने बड़ा रूप धारण नहीं किया, यही वजह है कि ट्रेन में मौजूद छोटे अग्नि सामक यंत्र से आग पर काबू पा लिया गया। ट्रेन घोड़ाडोंगरी रेलवे गेट के पास रूकी थी, इसी वजह 15 मिनट तक ट्रेन यही खड़ी रही। इस दौरान बरेठा और घोड़ाडोंगरी मार्ग पर वाहनों की लम्बी कतार भी लग गई।
धाराखोह से दूसरा इंजन बुलाकर इटारसी रवाना हुई ट्रेन
घोड़ाडोंगरी पहुंचने के पहले ट्रेन में अचानक आग लगने और रेलवे गेट के पास ट्रेन खड़ी होने से यात्रियों में हड़कम्प मच गया था। हालांकि ट्रेन के चालक और सहचालक की सूझबूझ से बड़ा हादसा टल गया और कोई जन हानि नही हुई। दोनों चालकों ने अपनी सूझबूझ से ट्रेन को धीमी गति से जैसे-तैसे घोड़ाडोंगरी स्टेशन लेकर आए, यहां स्टेशन प्रबंधक को जानकारी दी गई। इसके बाद इंजन को ट्रेन से हटा लिया गया। धाराखोह से दूसरा इंजन बुलाने के करीब 1 घंटे बाद ट्रेन को इटारसी स्टेशन (Itarsi Station) रवाना किया गया।