भिंड। मध्यप्रदेश में चुनाव आयोग शत प्रतिशत मतदान के लिए तरह-तरह की मुहिम चला रहा है। लेकिन भिंड में कलेक्टर के एक आदेश से मतदाता नाखुश हैं। भिंड जिले में मतदान के लिए पोलिंग बूथ तक मतदाताओं को पैदल जाना होगा। यहां प्रशासन ने मतदान के समय तक टू व्हीलर पर रोक लगा दी है। ऐसे में चुनाव आयोग का शत प्रतिशत का सपना कैसे पूरा होगा इस पर सवाल खड़ा हो रहा है।
जानकारी के अनुसार, भिंड कलेक्टर धनराजू एस ने एक आदेश जारी कर मतदान के दौरन टू व्हीलर पर रोक लगा दी है। वोटर सुबह सात बजे से शाम सात बजे तक टू व्हीलर का इस्तेमाल नहीं कर सकेंगे। हालांकि, इस आदेश को लेकर वोटरों में नाराजगी है। उनका कहना है कि इस तरह के आदेश से दूर रहने वाले स्थानीय लोग कैसे बिना गाड़ी के मतदान करने जाएंगे। जब इस आदेश के जारी करने के पीछा का कारण जानना चाहा तो कलेक्टर ने बताया कि, कानून व्यव्सथा कायम रखने के लिए गाड़ियों पर प्रतिबंध लगाया गया है। इससे मतदाताओं को उम्मीदवारों द्वारा आकर्षक करने पर रोक लगेगी।
आदेश में कहा गया है कि जिन अधिकारियों की चुनाव में ड्यूटी लगी है, कानून व्यवस्था, फायर ब्रिगेड, एम्बुलेंस जैसी गाड़ियों को प्रतिबंध से बाहर रखा गया है। बाकि वाहनों को अनुमति लेने के बाद ही चलाया जा सकेगा। जब कलेक्टर से दिव्यांग और बुजुर्गों को पोलिंग बूथ तक लाने की व्यव्स्था के बारे में सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि ऐसे मतदातों को ले जाने वाली गाड़ियों को नहीं रोका जाएगा। हालांकि, मतदाताओं ने कहा कि उनके घर से मतदाता केंद्र काफी दूर हैं। इस तरह के प्रतिबंध से उन्हें वोट करने जाने के लिए सोचना पड़ेगा। अगर प्रशासन को किसी वोटर पर किसी भी तरह की शंका है तो वह इसके लिए चैकिंग के खास इंतेजाम करें। इस तरह गाड़ियों पर प्रतिबंध लगाने से मतदाताओं को परेशानी होगी जिससे मतदान प्रतिशत पर असर पड़ेगा।