2018 के पहले तक कर्मचारी चयन मंडल से भर्ती होने पर तृतीया और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों को प्रोबेशन पीरियड 2 वर्ष के उपलब्ध कराए जाते थे। 2019 में कांग्रेस सरकार द्वारा प्रोबेशन पीरियड को 4 साल कर दिया गया था। इस अवधि को वरिष्ठता में नहीं जोड़ने के आदेश दिए गए थे। हालांकि पहले साल में कर्मचारियों को 70% जबकि दूसरे साल में 80% वेतन का भुगतान किया जाता था।
तीसरे में 90% और चौथे साल में 100% वेतन दिए जाने के आदेश जारी किए गए थे। इस नियम के तहत अब तक प्रदेश में 60000 लोग भर्ती किए जा चुके हैं। वही जल्द बीजेपी सरकार द्वारा प्रोबेशन पीरियड को 4 साल से घटाकर 2 साल किए जाने की तैयारी की जा रही है। ऐसे में 2 साल तक कर्मचारियों को काम करने के बाद उनके 100% वेतन उन्हें उपलब्ध कराए जाएंगे।
महंगाई भत्ते में 4 फीसद की वृद्धि की तैयारी
इसके अलावा प्रदेश के लाखों कर्मचारियों के महंगाई भत्ते में 4 फीसद की वृद्धि की तैयारी की गई है। केंद्र सरकार के कर्मचारियों द्वारा महंगाई भत्ते में 4 फीसद की वृद्धि के बाद राज्य सरकार द्वारा भी महंगाई भत्ते को बढ़ाया जाना है। यह वृद्धि 1 जनवरी 2023 से प्रभावी होगी। इसका लाभ कर्मचारियों को मिलेगा। इसके साथ ही उनके लिए DA बढ़कर 42 फीसद हो जाएंगे। महंगाई भत्ता में वृद्धि के साथ ही कर्मचारियों के सैलरी में ₹20000 तक का इजाफा देखा जाएगा।
मानदेय में होगी वृद्धि
इधर प्रदेश के लाखों आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं के मानदेय मैं वृद्धि का भी फैसला लिया गया है। प्रदेश के 190000 आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को 1500 रूपए जबकि सहायिकाओं को 750 रूपए बढ़े हुए मानदेय के रूप में उपलब्ध कराए जाएंगे। इसी महीने इसकी घोषणा की जा सकती है। बता दें कि अभी आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं को 10000 रूपए जबकि सहायकों को 5000 रूपए मासिक मानदेय उपलब्ध कराए जाते हैं। हालांकि मानदेय में वृद्धि के साथ ही आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं के लिए मानदेय 11500 रूपए, वही सहायिकाओं के लिए मानदेय बढ़कर 5750 रूपए हो जाएंगे।
इससे पहले प्रदेश की सभी महिलाओं के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बड़ी घोषणा की गई थी। इसमें कहा गया था कि लाडली बहना योजना के तहत सभी महिलाओं को ₹1000 हर महीने अतिरिक्त उपलब्ध कराए जाएंगे। इसकी भी प्रक्रिया में तेजी लाई जा रही है।
कर्मचारियों को पदोन्नति का लाभ
वही प्रमोशन को लेकर भी कर्मचारियों की समस्या को समाप्त किया जा सकता है। दरअसल पदोन्नति का मामला फिलहाल सुप्रीम कोर्ट में लंबित है। वही बीच का रास्ता निकालते हुए शिवराज सरकार द्वारा कई विभागों में अधिकारी कर्मचारियों को पदोन्नति का लाभ दिया गया है। वहीं सरकार द्वारा नए पदोन्नति नियम बनाने का रास्ता भी तैयार कर लिया गया है। नई व्यवस्था के तहत कर्मचारियों को पदोन्नति उच्च पद पर दी जाएगी लेकिन उसके साथ प्रभारी लिखा होगा। ऐसे में विभाग अपने-अपने भर्ती नियम में बदलाव कर सकेंगे। विभाग को पदोन्नति के अपने नियम बनाने की छूट दी जाएगी।
हालांकि प्रमोशन में आरक्षण की मांग करने वाले कर्मचारियों को लेकर सरकार थोड़ी ज्यादा सतर्कता बरतने की तैयारी में है। समस्या के समाधान के लिए मंत्री की एक समिति का भी गठन किया गया था। फिलहाल समिति द्वारा इस पर कोई समाधान नहीं दिया गया है। वही लगातार बैठकें की जा रही है। माना जा रहा है कि समिति की तरफ से भी कुछ महत्वपूर्ण निर्देश निकल कर सामने आ सकते हैं।