राहुल गांधी बोले जातिगत जनगणना मांग गूंज रही, धीरेंद्र शास्त्री बोले जाति की नहीं अमीर गरीब की हो जनगणना

धीरेंद्र शास्त्री ने कहा मैं किसी पार्टी के पक्ष में या फिर विरोध में नहीं हूँ लेकिन मुझे लगता है जातिगत जनगणना जरूरी नहीं है जातियों में ना बांटकर हम उस ऊर्जा को देश हित में लगायें। 

Atul Saxena
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Caste Census post rahul gandhi, dhirendra shastri reply: राहुल गांधी ने राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग और राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग में ख़ाली पदों को भरने की मांग को लेकर केंद्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री को पत्र लिखकर जातिगत जनगणना की मांग को फिर से उठाया है। उनकी मांग पर बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर धीरेंद्र शास्त्री ने जवाब दिया है और कहा है जनगणना होनी चाहिए तो अमीर गरीब की, ना की जातियों की।

लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी और उनकी पार्टी देश में जातिगत जनगणना कराने की मांग लंबे समय से कर रही है, संसद हो या फिर सड़क, चुनावी सभा या कार्यकर्ताओं की मीटिंग या फिर मीडिया से बातचीत राहुल गांधी जातिगत जनगणना की बात जरुर करते हैं, उनका मानना है कि जातिगत जनगणना के बाद मालूम चल सकेगा कि इस देश में किसको कितना हक़ मिलना चाहिए।

राहुल गांधी ने सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री को पत्र लिखा, की ये मांग 

राहुल गांधी ने एक बार फिर जातिगत जनगणना का मुद्दा उठाया है, उन्होंने X पर एक पोस्ट लिखी है जिसमें उन्होंने कहा –  देशभर में हज़ारों दलित-पिछड़े न्याय की लड़ाई लड़ रहे हैं। हर जगह जातिगत जनगणना की मांग गूंज रही है।ऐसे वक्त में भाजपा सरकार द्वारा जानबूझकर सामाजिक न्याय सुनिश्चित करने वाली संवैधानिक संस्थाओं में अहम पदों को ख़ाली रखना उनकी दलित-पिछड़ा विरोधी मानसिकता को दिखाता है। राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग और राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग में ख़ाली पदों को भरने की मांग को लेकर केंद्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री को पत्र लिखा है।

धीरेंद्र शास्त्री बोले- जातिगत जनगणना बांटने की बात 

राहुल गांधी और उनकी पार्टी की इस मांग का धीरेंद्र शास्त्री ने जवाब दिया है, मीडिया से बात करते हुए धीरेंद्र शास्त्री ने कहा जनगणना और जातिगत जनगणना दोनों अलग बातें हैं, देश में कितने अस्पताल, कितने पुलिस स्टेशन होने चाहिए इसकी व्यवस्था बनाने  के लिए जनगणना जरूरी है लेकिन जातिगत जनगणना बांटने की बात है।

जातिगत नहीं अमीर गरीब की जनगणना होनी चाहिए 

उन्होंने कहा मैं किसी पार्टी के पक्ष में या फिर विरोध में नहीं हूँ लेकिन मुझे लगता है ये जरूरी नहीं है जातियों में ना बांटकर हम उस ऊर्जा को देश हित में लगायें, उन्होंने कहा इस देश में अमीर और गरीब की जनगणना होनी चाहिए, इससे अमीरों से ये कहा जायेगा कि वे गरीबों को काम दें, इससे बेरोजगारी पलायनवाद मिटेगा।

हिन्दू भी अपने त्यौहार पर ऐसा मैसेज डाल दें 

धीरेंद्र शास्त्री ने रमजान के महीने में वायरल की जा रही एक पोस्ट के सवाल पर कहा ये उन लोगों की निजी सोच है, उनके विचार हैं इसलिए वे लोग ऐसी पोस्ट कर रहे ये हिन्दुओं को सोचना चाहिए, जब हिन्दुओं के त्यौहार आयें तो वे भी ऐसे ही मैसेज डाल दें।


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पत्रकारिता मेरे लिए एक मिशन है, हालाँकि आज की पत्रकारिता ना ब्रह्माण्ड के पहले पत्रकार देवर्षि नारद वाली है और ना ही गणेश शंकर विद्यार्थी वाली, फिर भी मेरा ऐसा मानना है कि यदि खबर को सिर्फ खबर ही रहने दिया जाये तो ये ही सही अर्थों में पत्रकारिता है और मैं इसी मिशन पर पिछले तीन दशकों से ज्यादा समय से लगा हुआ हूँ....पत्रकारिता के इस भौतिकवादी युग में मेरे जीवन में कई उतार चढ़ाव आये, बहुत सी चुनौतियों का सामना करना पड़ा लेकिन इसके बाद भी ना मैं डरा और ना ही अपने रास्ते से हटा ....पत्रकारिता मेरे जीवन का वो हिस्सा है जिसमें सच्ची और सही ख़बरें मेरी पहचान हैं ....

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