दिल्ली सरकार के मंत्री ने शिवराज सरकार से की वकीलों को लेकर ये मांग

ग्वालियर, अतुल सक्सेना। एक दिवसीय प्रवास पर ग्वालियर पहुंचे दिल्ली सरकार के कैबिनेट मंत्री राजेंद्र पाल गौतम (Cabinet Minister Rajendra Pal Gautam)  ने प्रदेश की शिवराज सरकार (Shivraj government) से मांग की है कि जिस प्रकार दिल्ली सरकार ने अभिभाषकों के लिए 40 करोड़ रुपए की राशि मंजूर की है और उक्त राशि से अभिभाषकों के लिए 5 लाख रुपए का स्वास्थ्य बीमा एवं 10 लाख रुपए का जीवन बीमा योजना लागू की गई है उसी प्रकार शिवराज सरकार भी अभिभाषकों के लिए स्वास्थ्य बीमा एवं जीवन बीमा योजना लागू करें । कैबिनेट मंत्री गौतम ने कहा कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह (Chief Minister Shivraj Singh) द्वारा वर्ष 2012 में मुख्यमंत्री महापंचायत में सार्वजनिक रूप से घोषणा करते हुए यह कहा गया था कि शीघ्र ही एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट (Advocate Protection Act) लागू किया जाएगा किंतु आज दिनांक तक तीन कार्यकाल होने के उपरांत भी उन्होंने एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट लागू नहीं किया है जिससे अभिभाषकों में काफी रोष है जिसको लेकर म प्र लायर्स एसोसिएशन को आंदोलन करना चाहिये ।

मध्य प्रदेश लॉयर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष एडवोकेट रोहित गुप्ता ने बताया कि मध्य प्रदेश लॉयर्स एसोसिएशन ने जानकारी देते हुए बताया कि दिल्ली सरकार के कैबिनेट मंत्री ने ग्वालियर में विधिक संगोष्ठी को भी संबोधित किया जिसका विषय “कोविड 19 के परिपेक्ष्य में वैश्विक स्थिति और भारत मे श्रम विधियां” रखा गया था । संगोष्ठी को संबोधित करते हुए कहा कि कोविड-19 के दौरान मजदूरों की जिस प्रकार बदहाली हुई है तथा बेरोजगारी का आलम इन 8 महीने में चरम पर पहुंच गया है कि युवा आत्म हत्या करने को मजबूर हो रहे है तथा श्रमिक विधि में उनके अधिकारों को लेकर कोई ठोस उपायों का प्रावधान नहीं किया गया है सरकार को श्रम कानून को मजबूती प्रदान करनी चाहिए तथा न्यूनतम मजदूरी दर को बढ़ाना चाहिए तथा मजदूरों के हित में ऐसे कानून बनाए जाएं जिससे मजदूरों का हक न छीना जा सके उक्त विधिक संगोष्ठी को राज्य अधिवक्ता परिषद के सदस्य प्रेम सिंह भदौरिया ,अभिभाषक संघ के अध्यक्ष विनोद भारद्वाज, उमेश कुमार सिंह चौहान ने भी संबोधित किया संचालन आलोक शर्मा ने किया और आभार जितेंद्र पवैया ने किया उक्त विधि संगोष्ठी में दो सैकड़ा से अधिक अभिभाषकों ने भाग लिया ।


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Atul Saxena

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पत्रकारिता मेरे लिए एक मिशन है, हालाँकि आज की पत्रकारिता ना ब्रह्माण्ड के पहले पत्रकार देवर्षि नारद वाली है और ना ही गणेश शंकर विद्यार्थी वाली, फिर भी मेरा ऐसा मानना है कि यदि खबर को सिर्फ खबर ही रहने दिया जाये तो ये ही सही अर्थों में पत्रकारिता है और मैं इसी मिशन पर पिछले तीन दशकों से ज्यादा समय से लगा हुआ हूँ.... पत्रकारिता के इस भौतिकवादी युग में मेरे जीवन में कई उतार चढ़ाव आये, बहुत सी चुनौतियों का सामना करना पड़ा लेकिन इसके बाद भी ना मैं डरा और ना ही अपने रास्ते से हटा ....पत्रकारिता मेरे जीवन का वो हिस्सा है जिसमें सच्ची और सही ख़बरें मेरी पहचान हैं ....