ग्वालियर, अतुल सक्सेना। ग्वालियर पुलिस (Gwalior Police) ने एक ऐसी शातिर चोर गैंग (Thief Gang) को गिरफ्तार किया है जो दिल्ली से ग्वालियर आकर चोरियां करते थे और वापस दिल्ली भाग जाते थे। शहर में लगातार बढ़ती चोरियों के बाद सक्रिय हुई ग्वालियर पुलिस ने दिल्ली जाकर गैंग के पांच सदस्यों को गिरफ्तार कर लिया। ये गैंग कार से आती थी और टोल निकल जाने के बाद फर्जी नंबर प्लेट लगाकर उस शहर में चोरी करती और वापस इसी तरह निकल जाती। पूछताछ में चोरों का 32 साल पुराना चोरी का इतिहास निकला है। गिरोह ने ग्वालियर की 6 चोरियों का खुलासा किया है पुलिस ने इनसे लाखों के जेवरात, कार और लॉक तोड़ने के औजार बरामद किये हैं।
एसपी अमित सांघी ने पत्रकारों को बताया पिछले दिनों मुरार, यूनिवर्सिटी और थाटीपुर थाना क्षेत्र में हुई की चोरियों के मामले में बाहरी गैंग के शक के आधार पर पुलिस काम कर रही थी इस बीच मुखबिर ने भी इसे कन्फर्म किया और कुछ इनपुट दिए। इनपुट मिलने के बाद एडिशनल एसपी क्राइम राजेश दंडोतिया के निर्देशन में सीएसपी मुरार रत्नेश तोमर, डीएसपी क्राइम नागेंद्र सिंह , टीआई क्राइम ब्रांच दामोदर गुप्ता को निर्देश देकर 6 टीमें बनाई गई और गिरोह को पकड़ने दिल्ली भेजा गया।
प्रॉपर इनपुट के आधार पर ग्वालियर पुलिस ने दिल्ली में छिपी बैठी चोर गैंग को 19 मार्च को पकड़ लिया। पुलिस के हाथ चोर गिरोह के पांच सदस्य आये। पूछताछ में चोरों ने 05 मार्च को यूनिवर्सिटी थाने के आर्किड ग्रीन, न्यू सिटी सेंटर स्थित मकान से सोने के जेवरात, 14 मार्च को थाना थाटीपुर के एमके प्लाजा, न्यू शिवाजी नगर स्थित मकान से भी सोने-चांदी के जेवरात व अन्य सामान की चोरी करना स्वीकार किया गया। इनके द्वारा थाना थाटीपुर क्षेत्र में दो अन्य स्थानों पर चोरी का प्रयास करना भी स्वीकार किया।
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चोरों ने बताया कि 14 मार्च को मुरार थाने के सांई काका अपार्टमेंट रिवर व्यू कालोनी के दो घरों से चोरी की थी। जिसमें एक घर से नगदी तथा दूसरे घर से सोने-चांदी के जेवरात तथा नगद 13 लाख से अधिक रुपये चोरी किये थे। पूछताछ में शातिर नकबजन गिरोह के पास से पुलिस टीम द्वारा 08 तोला सोने, 700 ग्राम चांदी के जेवरात, 75 हजार रुपये नगद बरामद किये गए। पुलिस ने घटना में प्रयुक्त कार तथा लॉक तोड़ने वाले औजारों को भी जब्त किया गया है।
पूछताछ में चोरों ने बताया कि वे अपनी कार से दिल्ली से ग्वालियर आये थे। मुरैना टोल निकलने के बाद इन लोगों ने कार पर से दिल्ली की नंबर प्लेट हटाकर उस पर ग्वालियर की फर्जी नम्बर प्लेट एमपी 07- पीए -2050 लगा ली थी। इसके बाद ग्वालियर शहर के विभिन्न इलाकों में चोरी, नकबजनी की घटनाओं को अंजाम दिया था। उसके बाद उसी कार से वापस दिल्ली की ओर निकल गये तथा मुरैना टोल निकलने के बाद फिर अपनी कार पर दिल्ली की नम्बर प्लेट लगा ली थी।
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गिरोह के संबंध में और अधिक जानकारी प्राप्त करने पर पुलिस को पता चला कि यह अन्तरराज्यीय गिरोह वर्ष 1990 से लगातार चोरी व नकबजनी की बारदातों में सक्रिय है और फर्जी नम्बर प्लेट लगाकर नकबजनी की घटनाओं को अंजाम देता है। इस गिरोह के द्वारा उत्तर प्रदेश व उसकी सीमा से लगे हुए जिलों तथा मध्य प्रदेश में चोरी, नकबजनी की घटनाएं की गई है। उक्त नकबजनों की तलाशी लेने पर उनके एक साथी के पास से फर्जी आईडी कार्ड भी मिला, जो दिल्ली सीआईडी पुलिस का है। उक्त नकबजनों द्वारा इसी आईडी कार्ड को दिखाकर मुरैना टोल को क्रॉस किया गया था।
पूछताछ में बदमाशों द्वारा ग्वालियर शहर में की गई छः चोरियों का खुलासा हुआ है।गिरोह के तीन सदस्यों पर दर्जनों आपराधिक प्रकरण दर्ज हैं, जिसमें एक पर 19, दूसरे पर 06 तथा तीसरे सदस्य पर 4 प्रकरण पंजीबद्ध हैं अन्य के संबंध में भी जानकारी प्राप्त की जा रही है।