Gwalior News : ट्रैफिक व्यवस्था को सुधारने और बार बार के विवाद से बचाने के लिए एमपी पुलिस ने एक नयी व्यवस्था लागू की है, इस व्यवस्था में पुलिस को नए तरह कैमरे दिए गए है जिन्हें वे हर समय ड्यूटी के दौरान अपने साथ रखेंगे, इन कैमरों का नाम है बॉडी वार्न कैमरे, पुलिस अधिकारी कर्मचारी इसे अपनी वर्दी पर लगाएगा।
पुलिस मुख्यालय भोपाल से आज ग्वालियर ट्रैफिक पुलिस (Gwalior Traffic Police) के लिए 35 बॉडी वार्न कैमरे (Body Worn Camera) आये जिन्हें एडिशनल एसपी ट्रैफिक मृगाखी डेका ने पुलिस अधिकारियों को प्रदान किये। इसके साथ ही मेला स्थित यातायात पूर्व कार्यालय में एक दिवसीय प्रशिक्षण कार्यशाला का भी आयोजन किया गया। इस मौके पर यातायात थाना प्रभारी निरीक्षक बैजनाथ प्रजापति, प्रभारी यातायात पूर्व क्षेत्र सूबेदार हिमांशू तिवारी, प्रभारी यातायात पश्चिम क्षेत्र सूबेदार अभिषेक रघुवंशी के साथ यातायात पुलिस के समस्त अधिकारीगण मौजूद थे।
एडिशनल एसपी मृगाखी डेका ने एमपी ब्रेकिंग न्यूज़ से बात करते हुए कहा कि यातायात पुलिस के अधिकारियों को आज प्रदान किये गये इस बॉडी वार्न कैमरों का मुख्य उद्देश्य यातायात व्यवस्था बनाये के लिये की जाने वाली चालानी कार्यवाही में पारदर्शिता लाना एवं वाहन चैकिंग के दौरान आम जनता से होने वाले विवादों से बचाव करना है।
बॉडी वार्न कैमरा पहनकर करेंगे ड्यूटी
उन्होंने कहा कि सामान्य तौर पर कई बार यातायात कंट्रोल करते समय और वाहन चैकिंग के दौरान अक्सर यातायात व्यवस्था बना रहे यातायात पुलिस के अधिकारी के साथ आमजन का विवाद हो जाता है, जिससे विभाग की छवि धूमिल होती है। इन घटनाओं में कमी लाने के उद्देश्य से ही यातायात पुलिस के अधिकारियों को चैकिंग के दौरान बॉडी वार्न कैमरे पहनकर ही ड्यूटी करने के निर्देश दिये गये है।
PHQ से अभी आये हैं 35 बॉडी वार्न कैमरे
उन्होंने बताया कि अभी 35 बॉडी वार्न कैमरे ही आये हैं जिन्हें ट्रैफिक में तैनात ASI, SI और इंस्पेक्टर्स को दिए गए है, शेष स्टाफ के लिए जल्दी ही भोपाल से कैमरे आएंगे जो उन्हें दिए जायेंगे।
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Atul Saxena
पत्रकारिता मेरे लिए एक मिशन है, हालाँकि आज की पत्रकारिता ना ब्रह्माण्ड के पहले पत्रकार देवर्षि नारद वाली है और ना ही गणेश शंकर विद्यार्थी वाली, फिर भी मेरा ऐसा मानना है कि यदि खबर को सिर्फ खबर ही रहने दिया जाये तो ये ही सही अर्थों में पत्रकारिता है और मैं इसी मिशन पर पिछले तीन दशकों से ज्यादा समय से लगा हुआ हूँ....
पत्रकारिता के इस भौतिकवादी युग में मेरे जीवन में कई उतार चढ़ाव आये, बहुत सी चुनौतियों का सामना करना पड़ा लेकिन इसके बाद भी ना मैं डरा और ना ही अपने रास्ते से हटा ....पत्रकारिता मेरे जीवन का वो हिस्सा है जिसमें सच्ची और सही ख़बरें मेरी पहचान हैं ....