कमलनाथ का बीजेपी पर तंज, कहा- शर्मनाक! भगवान कहे जाने वाले अन्नदाता सड़कों पर हैं

पंचायत चुनाव

भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। केंद्र सरकार द्वारा लाए तीन कृषि कानून (Agricultural law) के विरोध में किसान सड़कों पर उतर आया है। जिसे लेकर लगातार सभी राज्यों में आंदोलन बढ़ता ही जा रहा है। वहीं एक ओर बीजेपी इस कानून का समर्थन कर रही है, तो दूसरी तरफ कांग्रेस इसे काला कानून बता कर विरोध कर रही है। ऐसे में बीजेपी और कांग्रेस के बीच में भी सियासत गरमाई हुई है। बता दें कि 23 दिसंबर को पूरे देश में ‘किसान दिवस’ (Farmers’ Day) मनाया जाता है। जिसे लेकर पूर्व सीएम और कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ (Congress state president Kamal Nath) ने ट्वीट कर राष्ट्रीय किसान दिवस की सभी किसान भाइयों को बधाइयां दी है, साथ ही बीजेपी पर निशाना साधा है।

कमलनाथ ने कहा है कि, ‘कैसी शर्मनाक स्थिति है, कि देश का अन्नदाता किसान आज अपनी मांगों को पूरी करने की गुहार को लेकर पिछले 27 दिन से कड़ाके की ठंड में देश की राजधानी की सीमाओं की सड़कों पर आंदोलन कर रहा है और केन्द्र की भाजपा सरकार हठधर्मिता कर रहे है।


About Author
Gaurav Sharma

Gaurav Sharma

पत्रकारिता पेशा नहीं ज़िम्मेदारी है और जब बात ज़िम्मेदारी की होती है तब ईमानदारी और जवाबदारी से दूरी बनाना असंभव हो जाता है। एक पत्रकार की जवाबदारी समाज के लिए उतनी ही आवश्यक होती है जितनी परिवार के लिए क्यूंकि समाज का हर वर्ग हर शख्स पत्रकार पर आंख बंद कर उस तरह ही भरोसा करता है जितना एक परिवार का सदस्य करता है। पत्रकारिता मनुष्य को समाज के हर परिवेश हर घटनाक्रम से अवगत कराती है, यह इतनी व्यापक है कि जीवन का कोई भी पक्ष इससे अछूता नहीं है। यह समाज की विकृतियों का पर्दाफाश कर उन्हे नष्ट करने में हर वर्ग की मदद करती है। इसलिए पं. कमलापति त्रिपाठी ने लिखा है कि," ज्ञान और विज्ञान, दर्शन और साहित्य, कला और कारीगरी, राजनीति और अर्थनीति, समाजशास्त्र और इतिहास, संघर्ष तथा क्रांति, उत्थान और पतन, निर्माण और विनाश, प्रगति और दुर्गति के छोटे-बड़े प्रवाहों को प्रतिबिंबित करने में पत्रकारिता के समान दूसरा कौन सफल हो सकता है।