रक्षाबंधन का त्योहार नजदीक आ रहा है, और इस खास अवसर पर भाई-बहन के रिश्ते को और मजबूत करने के लिए कई भाई अपनी बहनों को उपहार भेजते हैं। हालांकि, जहां एक ओर यह त्योहार खुशियों से भरा होता है, तो वहीं दूसरी ओर साइबर अपराधी इसका फायदा उठाने की फिराक में रहते हैं। दरअसल साइबर ठग अब इंडिया पोस्ट के नाम पर झूठे मैसेज भेजकर लोगों को धोखा देने की कोशिश कर रहे हैं। ऐसे में यदि आपको इस प्रकार का कोई संदेश मिलता है, तो अधिक सावधानी बरतें, अन्यथा आपका रक्षाबंधन का आनंद खराब हो सकता है।
लिंक भेजकर किया जा सकता है धोखा
दरअसल रक्षाबंधन का पर्व, जो भाई-बहन के प्रेम और विश्वास का प्रतीक है, अक्सर भाई अपनी बहनों के लिए उपहार भेजते हैं, खासकर जब वे दूर रहते हैं। लेकिन इस वर्ष, साइबर अपराधियों ने इस भावनात्मक मौके का भी फायदा उठाना शुरू कर दिया है। जानकारी के अनुसार ये ठग इंडिया पोस्ट के नाम से नकली मैसेज भेज रहे हैं, जिसमें कहा जाता है कि आपका पार्सल पहुंच चुका है, लेकिन पते में गलती के कारण डिलीवर नहीं हो सका। इस मैसेज में एक लिंक होता है, जिसे क्लिक कर आप अपना पता अपडेट कर सकते हैं। लेकिन यह लिंक आपकी खुशियों को परेशानी में बदल सकता है। इसके साथ ही ऑनलाइन गिफ्ट का लालच देकर भी आपको फसाया जा सकता है।
कैसे किया जाता है यह स्कैम?
जानकर के अनुसार साइबर ठगों का जाल बहुत ही चालाकी से बुना गया है। जब कोई व्यक्ति इस लिंक पर क्लिक करता है, तो वह या तो हैकिंग का शिकार हो जाता है, या फिर उसे 25-50 रुपये का मामूली भुगतान करने को कहा जाता है। लोग अक्सर इस छोटी रकम को नज़रअंदाज कर देते हैं और बिना सोचे-समझे अपने डेबिट या क्रेडिट कार्ड की जानकारी दर्ज कर देते हैं। लेकिन यही छोटी गलती बड़ी मुसीबत का कारण बन सकती है। जब आप अपनी बैंकिंग जानकारी ठगों के हाथों में सौंप देते हैं, तो वे आपके खाते से धन की हेराफेरी कर सकते हैं या अन्य वित्तीय नुकसान पहुंचा सकते हैं।
जानें इससे कैसे बच सकते हैं?
फर्जी मैसेज की पहचान के लिए सावधान रहें। अगर कोई मैसेज अज्ञात नंबर से आता है, उसमें असामान्य भाषा होती है या लिंक पर क्लिक करने को कहता है, तो उस पर ध्यान न दें। कभी भी अनजान लिंक पर क्लिक न करें और किसी भी संदिग्ध मैसेज में अपनी व्यक्तिगत जानकारी या बैंक डिटेल्स साझा करने से बचें। अगर आपको लगे कि आप साइबर ठगी के शिकार हुए हैं, तो तुरंत 1930 पर कॉल करें या cybercrime.gov.in पर शिकायत दर्ज करें।