मुंबई, डेस्क रिपोर्ट। केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया (Union Civil Aviation Minister Jyotiraditya Scindia) को बॉम्बे हाईकोर्ट (Bombay Highcourt) द्वारा अपना पहला काम सौंपा गया है। हवाई अड्डों के नामकरण और नाम बदलने के लिए एक नई राष्ट्रव्यापी नीति तैयार करें। साथ ही कहा गया है कि यदि कोई नई नीति अभी भी मसौदा चरण में है, तो तत्काल लागू किया जाए। बॉम्बे हाईकोर्ट ने याचिका की सुनवाई के दौरान कहा कि आपके पास अभी मंत्रियों का एक नया समूह है। विमानन मंत्रालय का काम पूरा होने देना यह नए विमानन मंत्री Scindia का पहला कार्य होना चाहिए।
बॉम्बे हाईकोर्ट ने शुक्रवार को केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्रालय को देश में हवाई अड्डों के नामकरण और नामकरण से संबंधित नीति को अंतिम रूप देने और लागू करने का निर्देश दिया। मुख्य न्यायाधीश दीपांकर दत्ता और न्यायमूर्ति गिरीश एस कुलकर्णी की खंडपीठ ने वकील और शहर निवासी फिल्जी फ्रेडरिक द्वारा दायर जनहित याचिका पर सुनवाई की। जिसमें केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्रालय को हवाई अड्डों के नामकरण और नाम बदलने के लिए नीति तैयार करने और राज्य सरकारें अपने अधिकार क्षेत्र में हवाई अड्डों के नामकरण और नामकरण के लिए विभिन्न प्रस्तावों पर कार्रवाई करने का निर्देश देने की मांग की गई थी।
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जनहित याचिका में महाराष्ट्र सरकार को नवी मुंबई में आगामी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे का नाम नीति बनने तक कोई प्रस्ताव देने से रोकने के लिए निर्देश देने की भी मांग की गई है। याचिका में कहा गया है कि 13 मार्च, 2018 को नागरिक उड्डयन राज्य मंत्री ने संसद को सूचित किया था कि हवाई अड्डों के नामकरण के लिए मसौदा नीति दिशानिर्देश तैयार किए गए हैं। याचिकाकर्ता ने आगे कहा कि 10 जून को उन्होंने मंत्रालय से RTI अधिनियम के तहत सूचना मांगी, मंत्रालय द्वारा तैयार किए गए कैबिनेट नोट पर अंतर-मंत्रालयी परामर्श के संबंध में 2016 के फैसले के परिणाम के बारे में जानकारी मांगी गई थी।
बता दें कि इससे पहले मांग की गई थी कि नवी मुंबई में आगामी हवाई अड्डे का नाम दिवंगत सांसद डीबी पाटिल के नाम पर रखा जाए। जिन्होंने परियोजना प्रभावित लोगों के अधिकारों के लिए लड़ाई लड़ी थी। इसमें कुछ राजनेताओं के साथ स्थानीय कृषि और मछली पकड़ने वाले समुदायों के लोग शामिल थे। पिछले महीने महाराष्ट्र सरकार और राज्य द्वारा संचालित नगर नियोजन एजेंसी सिटी एंड इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट कॉरपोरेशन (सिडको) ने कहा था कि हवाई अड्डे का नाम शिवसेना के संस्थापक बाल ठाकरे के नाम पर रखा जाएगा। अब हाईकोर्ट ने शुक्रवार को केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्रालय को देश में हवाई अड्डों के नामकरण और नामकरण से संबंधित नीति को अंतिम रूप देने और लागू करने का निर्देश दिया है।