मोदी सरकार का बड़ा ऐलान, कर्पूरी ठाकुर को मिलेगा भारत रत्न, जानें इनसे जुड़े कुछ रोचक तथ्य

Manisha Kumari Pandey
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Bharat Ratna To Karpoori Thakur

Bharat Ratna To Karpoori Thakur: बुधवार को केंद्र सरकार ने बड़ी घोषणा की है। कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न से सम्मानित किया जाएगा। बता दें कि 24 जनवरी को कर्पूरी ठाकुर की जयंती है। कर्पूरी ठाकुर दिग्गज नेता, स्वतंत्रता सेनानी और शिक्षक थे हैं। उन्हें जननायक के नाम से भी जाना जाता है। वह दो बार बिहार के मुख्यमंत्री बन चुके हैं। स्वतंत्रता कि लड़ाई में उन्होनें अहम भूमिका निभाई थी। आइए जानें उनसे जुड़े कुछ रोचक तथ्य-

जन्म के बारे में

कर्पूरी ठाकुर का जन्म 24 जनवरी 1924 को बिहार के समस्तीपुर के पितौझिया गाँव में हुआ था। गाँव का नाम बदल कर्पूरीग्राम कर दिया गया है।  1940 में उन्होनें 10वीं यानि मैट्रिक कि परीक्षा दी थी।

पढ़ाई छोड़ स्वतंत्रता संग्राम में कूदे

कर्पूरी ठाकुर से पढ़ाई छोड़कर स्वतंत्रता संघर्ष के राह को चुना। भारत छोड़ो आंदोलन में उन्होनें महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। इस दौरान उन्हें 26 महीने जेल में बिताने पड़े।

स्वतंत्रता के बाद का सफर

कर्पूरी ठाकुर की लोकप्रियता के कारण उन्हें “जननायक” नाम मिला। स्वतंत्रता के बाद उन्होनें गाँव में शिक्षक के रूप में काम किया। 1952 में विहार विधानसभा के सदस्य बनें। दिसंबर 1970 से जून 1971 और जून 1977 से अप्रैल 1979 तक मुख्यमंत्री रह चुके हैं। वे बिहार के उपमुख्यमंत्री और और शिक्षा मंत्री भी रह चुके हैं।

CM रहते हुए लिए कई अहम निर्णय

बिहार में मुख्यमंत्री रहते हुए जननायक ने कई उल्लेनखनीय कार्य किए। पिछड़े वर्ग 27% आरक्षण प्रदान किया । उन्होनें बिहार में शराब पर भी बैन लगाया था।

मृत्यु

कर्पूरी ठाकुर का जीवन कई लोगों को प्रेरित करता है। उन्होनें समाज के लिए कई कार्य किए। 17 फरवरी 1998 में 64 वर्ष की उम्र में उन्होनें अंतिम साँसे ली।

 


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