Employees, Allowance Hike , MCD Allowance Hike : पार्षदों के लिए अच्छी खबर है। उनके भत्ते में वृद्धि की जाएगी। इसके लिए प्रस्ताव तैयार किया गया है। प्रस्ताव पर बैठक में एजेंडे को मंजूरी दी गई है। इसके तहत अब कर्मचारियों को भत्ते 300 से बढ़कर 25000 रुपए किया गया है।
दरअसल आम आदमी पार्टी के नेतृत्व वाले दिल्ली नगर नागरिक निकाय सदस्यों के भत्ते को 300 से लगभग 84 गुना अधिक बढ़ा दिया है इसके साथ ही अब उन्हें 25000 भत्ते का लाभ उपलब्ध कराया जा सकता है। इसके लिए MCD बैठक में प्रस्ताव को मंजूरी दे दी गई है। इससे पहले नागरिक निकाय सदस्यों को प्रति बैठक 300 का भत्ता उपलब्ध कराया जाता था। अब उन्हें भत्ते के रूप में 25000 प्राप्त होंगे। महीने में 4 बैठक का आयोजन किया जाता है, जिसके साथ ही कर्मचारियों को 1 लाख रुपए तक का लाभ मिलेगा।
MCD बैठक में भत्ते को बढ़ाने का प्रस्ताव पारित
मेयर शैली ओबेरॉय ने कहा कि सभी पार्षदों के लिए एक महत्वपूर्ण प्रस्ताव पारित किया गया है। पार्षदों को अपनी जेब से बहुत खर्च करना पड़ता है ।जिसके बाद उनके बैठक भत्ते को बढ़ाने का प्रस्ताव पारित किया गया है। जानकारी देते उन्होंने बताया कि एक पार्षद 4 निगम बैठक में पहुंचकर करके प्रति माह अधिकतम 1 लाख रुपए तक प्राप्त कर सकते हैं।
भारतीय जनता पार्टी द्वारा इस फैसले की कड़ी आलोचना
हालांकि विपक्षी भारतीय जनता पार्टी द्वारा इस फैसले की कड़ी आलोचना की गई है। इसके साथ ही उन्होंने नगर निकाय की बैठक का भी बहिष्कार किया है। दिल्ली बीजेपी अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कहा कि हैरानी इस बात की है कि एमसीडी परिषदों के भत्ते में 80 गुना बढ़ोतरी की मांग कर रही है।
मासिक भत्ते की अधिकतम सीमा 3000 से बढ़कर एक लाख रुपए
वही प्रस्ताव को मंजूरी देने के साथ ही पार्षदों के लिए मासिक भत्ते की अधिकतम सीमा 3000 से बढ़कर एक लाख रुपए प्रति महीने कर दी गई है इसमें 33 गुना की वृद्धि रिकॉर्ड की गई है।
आवास-शहरी मामलों के मंत्रालय-उप राज्यपाल के पास भेजा जाएगा प्रस्ताव
हालाकि प्रस्ताव को तब तक लागू नहीं किया जाएगा, जब तक केंद्रीय शहरी विकास मंत्रालय और उप राज्यपाल वी के सक्सेना द्वारा इसे मंजूरी नहीं दी जाती है।इसे अब आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय सहित उप राज्यपाल वी के सक्सेना के पास भेजा जाएगा।
प्रस्ताव किया गया था तैयार
इससे पहले प्रस्ताव तैयार किया गया था। जिसमें कहा गया था कि मौजूदा बाजार स्थित और मौजूदा परिलब्धियों को ध्यान में रखते हुए 19 साल पहले इसे अनुचित किया गया था लेकिन इस संबंध में प्रावधानों पर फिर से विचार करने का समय अब आ चुका है। एक पार्षद अपने वार्ड के लगभग एक लाख लोगों का प्रतिनिधि होता है ।ऐसे में शिकायतों को सुनने, एमसीडी अधिकारियों के साथ समन्वय स्थापित कर समाधान खोजने सहित दैनिक आधार पर उससे बातचीत करने में अतिरिक्त खर्च किया जाता है। ऐसे में उनके भत्ते में वृद्धि जरूरी है।
हर साल 30 करोड रुपए का अतिरिक्त भार
बता दे कि दिल्ली में कुल 250 पार्षद है। अगर प्रत्येक पार्षद को भाते के रूप में हर महीने 1 लाख रुपए का भुगतान किया जाता है तो एमसीडी को पार्षदों के भत्ते के रूप में हर साल 30 करोड रुपए का भुगतान करना होगा।