Employees Regularization : कर्मचारियों के लिए बड़ी खबर हैं। 60 दिन के भीतर उन्हें कई महत्वपूर्ण लाभ मिलेंगे। मुख्यमंत्री द्वारा अधिकारियों के निर्देश दिए गए हैं। इसके साथ ही एक तरफ जहां उन्हें नई पेंशन योजना का लाभ दिया जाएगा। नियमितीकरण प्रक्रिया को भी आगे बढ़ाया जाएगा। इसके साथ ही कर्मचारियों के वेतन में भी वृद्धि के आदेश जारी किए जाएंगे।
60 दिन के भीतर पूरी करें प्रक्रिया
दरअसल आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाई एस जगनमोहन रेड्डी ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं। जिसमें कहा गया है कि 60 दिन के भीतर कर्मचारियों से संबंधित कैबिनेट के फैसले को लागू किया जाए। मुख्यमंत्री द्वारा आदेश तब दिया गया, जब कर्मचारी संघ के प्रतिनिधि द्वारा कैंप कार्यालय में मुख्यमंत्री से मुलाकात की गई थी।
इससे पूर्व आंध्र प्रदेश एनजीओ एसोसिएशन के अध्यक्ष श्रीनिवास राव, सचिव शिवा रेड्डी और अन्य नेताओं द्वारा मुख्यमंत्री से मुलाकात की गई और जीपीएस को लागू सहित अनुबंधित कर्मचारियों की सेवाओं को नियमित करने, 12वीं पीआरसी का गठन करने और कर्मचारियों के भत्ते वृद्धि के आदेश के फैसले पर उन्हें धन्यवाद किया गया था। साथ ही जल्द से जल्द इस फैसले को अमल में लाने की अपील की गई थी।
GPS का लाभ
मुख्यमंत्री द्वारा कहा गया कि कर्मचारी सरकार का हिस्सा है और जनता का कल्याण कर्मचारियों के कल्याण पर निर्भर करता है। वित्त विभाग ने एक अच्छी पेंशन योजना शुरू करने वाली पीढ़ियों के लिए आपके परिवार को ध्यान में रखते हुए समस्याओं के हल के लिए 2 वर्षों से कड़ी मेहनत की है। इसके तहत यदि कोई कर्मचारी ₹100000 मूल वेतन के साथ रिटायर होता है तो मासिक तौर पर उसे ₹50000 पेंशन उपलब्ध कराए जाएंगे। 82 वर्ष की आयु में भी कर्मचारी का जीवन सुरक्षा होना चाहिए। इस दृष्टिकोण को ध्यान में रखते हुए इस पेंशन योजना को शुरू किया गया है।
सीएम ने नेताओं से मुलाकात में कहा कि पहली बार कर्मचारियों को सेवानिवृत्ति पर वित्तीय सुरक्षा प्रदान करने का अच्छा प्रयास किया गया। हर साल बढ़ती महंगाई को पूरा करने के लिए इसमें दो महंगाई राहत को जोड़ा जाएगा। जीपीएस को जोड़ने में कई ऐसी विशेषताएं हैं, जो पुरानी सीपीएस में नहीं है। ऐसे में इस योजना को लागू करना बेहतर रहेगा।
अनुबंध कर्मचारियों के नियमितीकरण के बारे में फैसला
कर्मचारी संघ के साथ बैठक में बोलते हुए सीएम जगन मोहन रेड्डी ने कहा कि अनुबंध कर्मचारियों के नियमितीकरण के बारे में फैसला लिया गया है। सरकार ने उनकी मदद के लिए सुप्रीम कोर्ट के विचार और फैसलों पर विचार किया। CM ने कहा कि प्रस्ताव पहली बार मेरे पास आया था। यह सुझाव दिया गया था कि विभाजन की तारीख पर 10 साल की सेवा पूरी करने को नियमितीकरण के मानदंड के रूप में लिया जाना चाहिए लेकिन अधिकांश अनुबंधित कर्मचारी की मदद से इसे घटाकर 5 साल किया गया है। अब विभाजन के 5 साल तक सेवा देने वाले कर्मचारियों को नियमितीकरण का लाभ दिया जाएगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने वेद विधान परिषद के कर्मचारियों की मदद करने का फैसला किया गया है। दरअसल नियमित कर्मचारियों की तुलना में इन कर्मचारियों के वेतन और सेवानिवृत्ति के बाद के लोगों में काफी अंतर है। जिसे दूर किया जाएगा और कर्मचारियों के वेतन में वृद्धि की जाएगी। इसके साथ ही इन कर्मचारियों को सरकारी कर्मचारी के रूप में भी मानने का फैसला किया गया है।
जगनमोहन रेड्डी ने अपने कर्मचारियों के लिए महत्वपूर्ण फैसला लिया। इसके साथ ही अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि 60 दिन के भीतर कैबिनेट में हुए फैसले को लागू किया जाए और इस मामले में आगे की कार्रवाई पूरी की जाए। जिसके बाद माना जा रहा है कि जल्द कर्मचारियों के वेतन में बड़ा इजाफा देखा जाएगा। इसके साथ ही प्रक्रिया को पूरा किया जाएगा।