एक बार फिर ट्विटर पर ट्रेंड हुआ #Boycott Cadbury, आइए जाने क्या है सच और पूरा मामला

देश, डेस्क रिपोर्ट। माइक्रो ब्लॉगिंग साइट ट्विटर पर एक बार फिर बायकॉट कैडबरी ट्रेंडिंग (boycott cadbury trended) हो रहा है। इतना ही नहीं इस ट्रेंड पर लोगों की विभिन्न प्रतिक्रियाएं भी सामने आ रही है। ट्विटर पर लोगों का गुस्सा साफ तौर पर देखने को मिल रहा है। लोग अपने अपने ट्विटर हैंडल से रोष व्यक्त कर कैडबरी के बायकाट की बात कर रहे हैं। कुछ लोग तो ऐसे कैडबरी द्वारा हिंदुओं के आस्था पर प्रहार तक की परिभाषा दे रहे हैं।

आपको बता दें आज सुबह से ही एक स्क्रीनशॉट टि्वटर पर वायरल हो रहा है जिस स्क्रीनशॉट में कैडबरी कंपनी का बताया जा रहा है। इस स्क्रीनशॉट में कैडबरी द्वारा बताया गया है कि उनकी चॉकलेट में जो जिलेटिन इस्तेमाल होता है वह गाय के मांस से बनाया जाता है और हलाल सर्टिफाइड है। इस स्क्रीनशॉट के वायरल होते ही ट्विटर पर लोगों का गुस्सा भड़क गया और लोगों ने कैडबरी के बायकाट की चर्चा ट्विटर पर तेज कर दी। लोगों ने इसे कैडबरी का एंटी हिंदू एजेंडा बताया है जिसमें कैडबरी द्वारा चॉकलेट में गाय का मांस मिलाकर उसे मिठाई के रूप में बेचा जा रहा है।

एक बार फिर ट्विटर पर ट्रेंड हुआ #Boycott Cadbury, आइए जाने क्या है सच और पूरा मामला

हालांकि यह पहली बार नहीं हुआ जब इस स्क्रीनशॉट के साथ कैडबरी के बायकाट की बात की गई हो। इस स्क्रीनशॉट को वर्ष 2021 के जुलाई में भी ट्विटर पर वायरल किया गया था और कैडबरी के बायकाट की बात की गई थी। जिसके बाद कैडबरी इंडिया ने एक स्टेटमेंट जारी कर इन सभी बातों का खंडन किया था। कैडबरी की पैरंट कंपनी मोंडेलेज ने लिखा था कि “कैडबरी का जो स्क्रीनशॉट भारत में टि्वटर पर वायरल हो रहा है वह स्क्रीनशॉट भारत में बने उत्पादों का नहीं है। भारत में जो भी उत्पाद बनाए जाते हैं वह 100% शाकाहारी हैं। और उत्पाद के व्यापार पर बना हुआ ग्रीन डॉट इस बात की पुष्टि करता है। आप लोग सोच सकते हैं कि इस तरह के नेगेटिव पोस्ट हमारे प्रोडक्ट और हमारे प्रति लोगों के विश्वास को नुकसान पहुंचाते हैं। हम उम्मीद करते हैं कि सभी लोग इस तरह की बातों पर विश्वास करने से पहले बात की सच्चाई तक जरूर पहुंचे। हमें हमने बेहतर तरीके से अपनी बात आप सभी के सामने रखी है।”


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Amit Sengar

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मुझे अपने आप पर गर्व है कि में एक पत्रकार हूँ। क्योंकि पत्रकार होना अपने आप में कलाकार, चिंतक, लेखक या जन-हित में काम करने वाले वकील जैसा होता है। पत्रकार कोई कारोबारी, व्यापारी या राजनेता नहीं होता है वह व्यापक जनता की भलाई के सरोकारों से संचालित होता है। वहीं हेनरी ल्यूस ने कहा है कि “मैं जर्नलिस्ट बना ताकि दुनिया के दिल के अधिक करीब रहूं।”